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दिल्ली में पेड़ों की कटाई पर AAP और BJP आमने-सामने, वीरेंद्र सचदेवा ने कहा- केजरीवाल ने ही दी थी अनुमति

दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने संबंधित दस्तावेज सार्वजनिक करने का दावा किया है। उन्होंने शुक्रवार को प्रेस वार्ता में छतरपुर के पेड़ गिराने के मामले से संबंधित फाइल के दस्तावेज प्रस्तुत किए और कहा कि सीएम अरविंद केजरीवाल द्वारा 24 जनवरी 2024 को हस्ताक्षरित फाइल दस्तावेज स्पष्ट रूप से दिखाता है कि मुख्यमंत्री ने न केवल पेड़ गिराने को मंजूरी दी

By V K Shukla Edited By: Sonu Suman Published: Fri, 05 Jul 2024 10:14 PM (IST)Updated: Fri, 05 Jul 2024 10:14 PM (IST)
पेड़ों की कटाई को लेकर गर्माए माहौल के बीच आप और भाजपा आमने-सामने आ गई।

राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली। पेड़ों की कटाई को लेकर गर्माए माहौल के बीच आप और भाजपा आमने-सामने आ गई हैं। दिल्ली भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा कि सीएम अरविंद केजरीवाल ने स्वयं छतरपुर के पास पेड़ गिराने को मंजूरी दी और सिफारिश की है। वहीं आप ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट 1100 पेड़ों की बात कर रहा है और भाजपा 422 पेड़ों की रिपोर्ट दिखा रही है।

दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने संबंधित दस्तावेज सार्वजनिक करने का दावा किया है। उन्होंने शुक्रवार को प्रेस वार्ता में छतरपुर के पेड़ गिराने के मामले से संबंधित फाइल के दस्तावेज प्रस्तुत किए और कहा कि सीएम अरविंद केजरीवाल द्वारा 24 जनवरी 2024 को हस्ताक्षरित फाइल दस्तावेज स्पष्ट रूप से दिखाता है कि मुख्यमंत्री ने न केवल पेड़ गिराने को मंजूरी दी, बल्कि यह भी कहा कि इस मामले में उपराज्यपाल मुख्यमंत्री और कैबिनेट की सलाह का पालन करने के लिए बाध्य हैं।

दिल्ली के मंत्रियों को इस्तीफा देना चाहिए: सचदेवा

उन्होंने कहा कि पेड़ गिराने के मामले की सच्चाई सामने आने के साथ ही पूरी आम आदमी पार्टी बेनकाब हो गई।उन्होंने कहा कि सौरभ भारद्वाज, गोपाल राय और सभी मंत्री जिन्होंने उपराज्यपाल पर आरोप लगाए हैं, उनके पास अब मंत्री बने रहने का कोई नैतिक अधिकार नहीं बचा है और उन्हें तुरंत इस्तीफा देना चाहिए।

भाजपा ने गैर कानूनी ढंग से 1100 पेड़ कटवाए: आप

उधर, आम आदमी पार्टी ने इस मामले में फिर भाजपा और एलजी को कटघरे में खड़ा किया। आप का कहना है कि सुप्रीम कोर्ट 1100 पेड़ों की बात कर रहा है और भाजपा 422 पेड़ों की कही और की रिपोर्ट दिखा रही है। आप ने कहा कि अगर भाजपा के पास पेड़ों को काटने की परमिशन थी तो सुप्रीम कोर्ट में जल्द दिखा देती। जो अफसर अपने मंत्री के सामने रिपोर्ट नहीं दे रहे हैं, वो भाजपा को रिपोर्ट दे रहे हैं। इसका मतलब अफसरों की भाजपा से मिलीभगत है। इससे साफ है कि उन्हीं अफसरों के जरिए भाजपा ने गैर कानूनी ढंग से 1100 पेड़ कटवाए।

एलजी क्यों नहीं सुप्रीम कोर्ट को बताते: आप

उन्होंने कहा कि बार-बार सुप्रीम कोर्ट एलजी के विषय में बात कर रहे हैं। एलजी क्यों नहीं सुप्रीम कोर्ट को बताते कि उनके पास परमिशन है। आम आदमी पार्टी का कहना है कि दिल्ली के छतरपुर इलाके में इको सेंसेटिव जोन है, जिसको रिज क्षेत्र भी कहा जाता है और दिल्ली का फेफड़ा भी कहा जाता है। उसमे करीब 1100 पेड़ चोरी छिपे काटे गए। यह पेड़ डीडीए ने काटे हैं।

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