Diwali 2024: दिल्ली में खाद्य विभाग की छापेमारी से मिलावटखोरों में हड़कंप, खोया-पनीर और मिठाइयों के उठाए 21 सैंपल
दीवाली के त्योहारों के मद्देनजर खाद्य वस्तुओं में मिलावट की रोकथाम के लिए दिल्ली सरकार का खाद्य सुरक्षा विभाग ने निगरानी तेज कर दी है। इसी कड़ी में दिल्ली के विभिन्न इलाकों में खुदरा बाजार में खोया पनीर मिठाइयों इत्यादि के सैंपल लिए जा रहे हैं। इससे मिलावट खोर दुकानदारों में हड़कंप मच गया है। खाद्य सुरक्षा विभाग की कार्रवाई से मिलावट में कुछ लगाम लग सकेगी।
राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली। दीपावली व त्योहारों के मद्देनजर बाजारों में रौनक बढ़ गई है। इस बीच खाद्य वस्तुओं में मिलावट की रोकथाम के लिए दिल्ली सरकार के खाद्य सुरक्षा विभाग ने निगरानी तेज कर दी है। इसलिए दिल्ली के विभिन्न इलाकों में खुदरा बाजार में भी खोया, पनीर, मिठाइयों इत्यादि के सैंपल लिए जा रहे हैं। ताकि खाद्य वस्तुओं में मिलावट पर रोक लगाई जा सके।
दिल्ली के विभिन्न इलाकों में की छापेमारी
इसी क्रम में पिछले दिनों दिल्ली के विभिन्न इलाकों में खोया, पनीर व मिठइयों के 13 सैंपल लिए गए। खाद्य सुरक्षा विभाग ने एक्स पर पोस्ट कर यह जानकारी दी है। खाद्य सुरक्षा विभाग के अनुसार 26 अक्टूबर को पश्चिमी व मध्य दिल्ली के बाजारों से खोया व पनीर के आठ सैंपल लिए गए।
इससे पहले 25 अक्टूबर को नई दिल्ली और दक्षिण पूर्वी दिल्ली के छह मिठाई की दुकानों का खाद्य सुरक्षा विभाग की विशेष टीम ने निरीक्षण किया। इस टीम में सात अधिकारी शामिल थे। उन्होंने विभिन्न मिठाइयों व पनीर के 13 सैंपल उठाए। इसके पहले भी विभाग ने की सैंपल लेकर जांच के लिए भेजे हैं। सैंपल फेल होने पर मिलावट करने वालों के खिलाफ कार्रवाई होगी।
गाजियाबाद में नहीं दिख रहा खाद्य सुरक्षा विभाग
मिलावटी खाद्य पदार्थों की जांच करने के लिए खरीदी गई 35 लाख रुपये की माडर्न एफएसडब्ल्यू (फूड सेफ्टी आन व्हील्स) का शहर में प्रयोग करने पर लोग सवाल उठा रहे हैं। लोगों का कहना है कि शहर में एफएसडब्ल्यूए से जांच होती नहीं दिख रही है। एफएसडब्ल्यूए से तुंरत ही जांच रिपोर्ट आ जाती है। इससे मिलावटी सामान पर तुरंत ही रोक लग जाती है। जबकि दीपावली से पहले इसका प्रयोग अधिक होना चाहिए था।
रिपोर्ट आने के बाद मिलावट खोर पर होती है कार्रवाई
दीपावली से पहले खाद्य पदार्थों में अधिक मिलावट की जाती है। खाद्य सुरक्षा विभाग की टीम नमूने लेकर जांच के लिए भेज देती है। जांच रिपोर्ट आने के बाद ही मिलावट खोर पर कार्रवाई की जाती है। रिपोर्ट आने से पहले दुकानदार उस खाद्य पदार्थ को बेच देता है। जब तक रिपोर्ट आती है दुकानदार अपने रसूख का प्रयोग कर कार्रवाई से बचने और साठगांठ करने का प्रयास करता है। समय पर ग्राहकों को न्याय नहीं मिल पाता है।बाजारों में दीवाली की खरीदारी करते लोग। ऐसे में एफएसएसएआइ (फूड सेफ्टी स्टेंडर्ड आथोरिटी ऑफ इंडिया) ने खाद्य सुरक्षा विभाग को एफएसडब्ल्यू उपलब्ध कराई थी। एफएसडब्ल्यू मौके पर जाकर जांच कर सकते हैं। इससे सिर्फ 15 से 20 मिनट में जांच रिपोर्ट मिल जाती है। इससे खाद्य पदार्थों में मिलावट का पता चल सकता है। शहर के लोगों का कहना है कि दीपावली से पहले एफएसडब्ल्यू बाजार में नहीं दिख रही है। यहां तक खाद्य सुरक्षा विभाग यह बताने काे तैयार नहीं कि इससे उन्होंने अभी तक कितने जांच की हैं।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।