UP News: गोरखपुर MMUT के कुलपति व पूर्व कुलसचिव पर भ्रष्टाचार का आरोप, 13 बिंदुओं पर हुई है शिकायत
देवरिया जिले के ब्रह्मप्रकाश नामक व्यक्ति ने MMUT के कुलपति प्रो. जेपी सैनी और पूर्व कुलसचिव डॉ. जयप्रकाश पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाए हैं। कुलपति और पूर्व कुलसचिव पर फार्मेसी भवन निर्माण में घोटाला बीएस हॉस्टल जीर्णोद्धार में हेराफेरी महिला छात्रावास निर्माण में अनियमितता और कंप्यूटर खरीद में दोहरी कीमत चुकाने जैसे आरोप हैं। शिकायतकर्ता ने इन आरोपों के साथ ही 13 बिंदुओं पर एआईसीटीई से शिकायत की है।
जागरण संवाददाता, गोरखपुर। देवरिया जिले के ब्रह्मप्रकाश नाम के व्यक्ति ने मदनमोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. जेपी सैनी और पूर्व कुलसचिव डा. जयप्रकाश पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है। इसे लेकर उसने 13 बिंद़ुओं पर एआइसीटीई (आल इंडिया कांउसिल आफ टेक्निकल एजुकेशन) से शिकायत की है और उसकी प्रति राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यपाल और मुख्यमंत्री के अलावा मुख्य न्यायाधीश को भेजा है।
शिकायत की चिट्ठी को इंटरनेट मीडिया के जरिये प्रसारित करने के क्रम में उसने यह भी बताया कि काउंसिल के उप सचिव के निर्देश पर सदस्य सचिव ने जांच भी शुरू कर दी है। हालांकि विश्वविद्यालय प्रशासन ने ऐसी किसी जांच के दावे को सिरे से खारिज किया है और इसे विश्वविद्यालय के कुल शिक्षकाें, अधिकारियों और कर्मचारियों की साजिश बताया है। विश्वविद्यालय की इसे लेकर सभी बिंदुओं पर खंडन भी जारी किया गया है।
शिकायतकर्ता ने कुलपति की सहमति से कुलसचिव पर भ्रष्टाचार से जुड़ी फाइलों को दबाने का आरोप लगाया है। शिकायतकर्ता ने फार्मेसी भवन के निर्माण में 14 करोड़ रुपये के घोटाले का आरोप लगाते हुए कहा है कि इस भवन के निर्माण का 11 करोड़ का एस्टीमेट तैयार किया गया था।
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इसके लिए एक कंपनी को टेंडर भी दे दिया गया था लेकिन बाद में पूर्व में चयनित फर्म का टेंडर निरस्त करते हुए भवन निर्माण का एस्टीमेट 25 करोड़ रुपये कर दिया और आनन-फानन में उसका शिलान्यास भी करा दिया। इसी तरह उसने बीएस हास्टल के जीर्णोद्धार, महिला छात्रावास के निर्माण आदि मेें हेराफेरी का आरोप भी लगाया है।
इसे भी पढ़ें-दिल्ली में ऑफिस खोलकर इंजीनियर चला रहा था डिजिटल अरेस्ट गिरोह, चार गिरफ्तारइन आरोपों का खंडन जारी करते हुए पूर्व कुलसचिव ने कहा है कि विश्वविद्यालय के कुछ अधिकारियों व कर्मचारियोें के खिलाफ भ्रष्टाचार की जांच प्रक्रिया अंतिम चरण में चल रही है। वही लोग आरोपों के जरिये विश्वविद्यालय की छवि धूमिल करने का प्रयास कर रहे हैं और फर्जी नाम से झूठा शिकायती पत्र प्रकाशित कर रहे हैं। ऐसे लोगों के खिलाफ सुसंगत धाराओं में विधिक कार्यवाही विश्वविद्यालय प्रशासन करने जा रहा है।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।विश्वविद्यालय कुछ अधिकारियों व कर्मचारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार को लेकर हो रही जांच अंतिम चरण मेें है। ऐसे लोग विश्वविद्यालय की कार्रवाई के भय से झूठे शिकायतकर्ता के जरिये ऐसा आरोप लगा रहे है, जो पूरी तरह निराधार है। ऐसा करने वाले लोगों को चिन्हित कर कठोर विधिक कार्यवाही की प्रक्रिया आगे बढ़ाई जाएगी।- प्रो. जेपी सैनी, कुलपति, एमएमयूटी