काशी हिन्दू विश्वविद्यालय में भारत-जापान शैक्षिक महासम्मेलन 2025
काशी हिन्दू विश्वविद्यालय में 14 से 16 नवंबर, 2025 तक भारत-जापान उच्चस्तरीय शैक्षिक अधिवेशन का आयोजन होगा। इस तीन दिवसीय कार्यक्रम का उद्देश्य दोनों देशों के बीच शैक्षिक, अनुसंधान और सांस्कृतिक सहयोग को बढ़ावा देना है। अधिवेशन में शिक्षाविद, शोधकर्ता और नीति-निर्माता भाग लेंगे। कार्यक्रम में विज्ञान, प्रौद्योगिकी, उच्च शिक्षा और सांस्कृतिक प्रथाओं पर विचार-विमर्श किया जाएगा। यह भारत-जापान संबंधों को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।

यह भारत-जापान संबंधों को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
जागरण संवाददाता, वाराणसी। भौतिकी विभाग, विज्ञान संस्थान, काशी हिन्दू विश्वविद्यालय 14 से 16 नवम्बर, 2025 तक त्रिदिवसीय भारत और जापान के बीच शैक्षिक, अनुसंधानात्मक एवं सांस्कृतिक सहयोग को सुदृढ बनाने के उद्देश्य से ‘‘भारत जापान उच्चस्तरीय शैक्षिक अधिवेशन‘‘ का आयोजन करने जा रहा है।
कार्यक्रम का आयोजन मालवीय मूल्य अनुशीलन केंद्र, में किया जा रहा है। कार्यक्रम के संयोजक डॉ. कुँअर अलकेंद्र प्रताप सिंह, भौतिकी विभाग, विज्ञान संस्थान, ने बताया कि इस अधिवेशन में दोनों देशों के प्रतिष्ठित शिक्षाविद्, शोधकर्ता, नीति-निर्माता एवं संस्थागत प्रतिनिधि सहभागिता करेंगे।
डॉ. सिंह ने कहा कि अधिवेशन का उद्देश्य उच्च शिक्षा के अंतरराष्ट्रीयकरण, संयुक्त शोध परियोजनाओं, छात्र संकाय विनिमय कार्यक्रम, नवाचार-आधारित शिक्षण पद्धतियों एवं कौशलदृकेन्द्रित शैक्षिक उपक्रमों पर रणनीतिक संवाद को बढ़ावा देना है। साथ ही भारत और जापान की सांस्कृतिक परंपराओ, दार्शनिक धारणाओं एवं मूल्य-आधारित शिक्षण से जुड़ी सहभागिताओं पर भी विचार-विमर्श होगा।
कार्यक्रम के अंतर्गत प्रथम दिवस विज्ञान, प्रौद्योगिकी, अभियांत्रिकी, कला एवं गणित पर केंद्रित होगा। दूसरे दिन उच्च शिक्षा, शोध एवं नवाचार सहयोग पर तथा तृतीय दिवस सांस्कृतिक प्रथाओं, युवा आदान-प्रदान एवं अवसरों पर संवाद के लिए समर्पित रहेगा। यह अधिवेशन भारत जापान संबंधों को आधुनिक वैश्विक संदर्भ में नई दिशा, ऊर्जा एवं दीर्घकालिक सहयोग की संभावनाओं से समृद्ध करने की एक महत्वपूर्ण पहल है।

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