भागलपुर के पूनम हत्याकांड में गवाही देने फिर नहीं पहुंचे डा. एके मलिक, अब पेंशन रोकने का आदेश जारी
भागलपुर के पूनम हत्याकांड में डा. एके मलिक गवाही देने नहीं पहुंचे। 2015 के चर्चित मर्डर केस में ऐसा पहली बार नहीं हुआ है। इससे पहले भी एके मलिक कई तिथ ...और पढ़ें

जागरण संवाददाता, भागलपुर : कहलगांव थाना क्षेत्र में वर्ष 2015 में हुए चर्चित पूनम हत्याकांड में गवाही देने को कई तय तिथियों में अदालत नहीं पहुंचने पर डाक्टर एके मलिक का पेंशन रोके जाने का आदेश एडीजे-16 विश्व विभूति गुप्ता ने दे दिया है। न्यायाधीश ने शुक्रवार को गवाही के लिए तय की गई तिथि पर डाक्टर मलिक के गवाही देने नहीं पहुंचने को गंभीरता से लेते हुए उनका पेंशन रोकने के आदेश संबंधी पत्र शुक्रवार को जिलाधिकारी को भेज दिया है। न्यायाधीश ने अदालती आदेश की एक कापी गृह सचिव, पटना और कोषागार भागलपुर को भी भेज दिया है। न्यायाधीश ने अपने आदेश में कहा है कि कहलगांव में 24 अक्टूबर 2015 को कहलगांव में पूनम देवी की धारदार हथियार से हत्या कर दी गई थी।
हत्या के इस मुकदमे में आरोपित कुरमा गांव निवासी चुन्ना मंडल 2015 से जेल में बंद है। उक्त केस की सुनवाई लंबित है। पटना उच्च न्यायालय ने 19 सितंबर 2017 को नौ माह में इस केस की सुनवाई पूरा करने का आदेश दिया था। लेकिन आज तक अभियोजन की तरफ से पूर्ण साक्ष्य अदालत में प्रस्तुत नहीं किया गया है। पटना उच्च न्यायालय ने फिर 2022 में अभियोजन के विरुद्ध को-अर्सिव स्टेप लेते हुए तीन माह में इस केस के निष्पादन करने का आदेश पारित कर दिया है। न्यायाधीश ने डीएम को लिखा है कि डाक्टर एके मलिक 12 अक्टूबर 2022, 13 अक्टूबर 2022 और 14 अक्टूबर 2022 को न्यायालय में गवाही के लिए समय देकर उपस्थित नहीं हुए।
- कई तिथियों पर समय देकर गवाही देने नहीं हो रहे थे उपस्थित
- उच्च न्यायालय ने इस केस को तय समय सीमा में निष्पादित करने का न्यायालय को दे रखा है निर्देश
- डीएम को दिया निर्देश, आदेश की कापी गृह सचिव को भेजा
न्यायाधीश ने डीएम को निर्देश दिया है कि डाक्टर मलिक का पेंशन तत्काल प्रभाव से रोक दिया जाए। और ट्रेजरी भागलपुर को आदेशित करें कि डाक्टर मलिक का अक्टूबर माह का पेंशन पास ना करे जिससे कि मलिक को गवाही देने के लिए बाध्य किया जा सके ताकि हत्या के इस केस का निष्पादन हो सके। मालूम हो कि पूनम देवी की हत्या तेज धारदार हथियार से काट कर उसके पति चुन्ना मंडल ने कर दी थी। मामले में कहलगांव के जहानाटीकर गांव निवासी पूनम के भाई कैलू मंडल ने केस दर्ज कराया था।

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