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    दरभंगा के केवटी में टेंपो और बाइक की टक्कर में युवक की मौत, पत्नी व बेटी जख्मी

    By Vijay Kumar Rai Edited By: Dharmendra Singh
    Updated: Thu, 13 Nov 2025 04:33 PM (IST)

    दरभंगा-जयनगर राजमार्ग पर टेंपो और बाइक की टक्कर में बनवारीपट्टी के सुबोध पासवान की मौत हो गई। वह अपनी पत्नी और बेटी के साथ ससुराल जा रहे थे। दुर्घटना में पत्नी और बेटी भी घायल हो गईं, जिनका इलाज चल रहा है। सुबोध कोलकाता में मजदूरी करते थे और छठ में घर आए थे। उनकी मौत से गांव में शोक की लहर है।

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    घटना के बाद विलाप करते सुबोध के स्वजन। सौ. जय नारायण सहनी

    संवाद सहयोगी, केवटी ( दरभंगा ) । दरभंगा- जयनगर राष्ट्रीय राजमार्ग 527 बी पर खिरमा - पथरा और ननौरा चौक के बीच स्थित पुल के पास टेंपो और बाइक की टक्कर में गंभीर रूप से घायल टेंपो सवार बनवारीपट्टी निवासी गणेश पासवान के पुत्र सुबोध पासवान (35) की मौत बुधवार की रात इलाज के लिए पीएमसीएच ले जाने के क्रम में हो गई।

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    जबकि पत्नी एवं पुत्री दरभंगा के एक निजी अस्पताल में इलाजरत है। वह कोलकाता में मजदूरी कर अपने परिवार का भरण - पोषण करता था और छठ पर्व में घर आया था। बताया जाता है कि मंगलवार की शाम सुबोध अपनी पत्नी प्रियंका देवी एवं एक वर्ष की पुत्री के साथ घर बनवारीपट्टी गांव से ससुराल सिंहवाड़ा के सिमरी गांव टेंपो से जा रहा था। इसी क्रम में खिरमा - पथरा और ननौरा चौक के बीच स्थित पुल के पास टेंपो और बाइक में टक्कर हो गई।

    जिसमें बाइक सवार युवक व टेंपो सवार सुबोध,उसकी पत्नी एवं पुत्री सहित करीब आधा दर्जन लोग घायल हो गए थे। सभी घायलों को मौके पर पहुंची केवटी थाने की पुलिस ने दरभंगा के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया। जहां गंभीर रूप से घायल सुबोध को प्राथमिक उपचार के बाद बुधवार पीएमसीएच रेफर कर दिया। पीएमसीएच पहुंचते ही उसकी मौत हो गई। इस घटना में टैंपो और बाइक बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया।

    कहां गेलै रे हमर दुलरूआ बेटा

    सुबोध के मौत की खबर गांव में पहुंचते ही मातम पसर गया। स्वजन पर जैो पहाड़ टूटकर गिर पड़ा। उसका शव गुरुवार की सुबह करीब आठ बजे एम्बुलेंस से जैसे ही गांव बनवारीपट्टी पहुंचा कि मां तारा देवी शव से लिपट गई और फूट - फूट कर रोने लगी ।

    मां का रो - रो कर बुरा हाल था । होश आने पर बस यहीं कह रही थी कि कहां गेलै रे हमर दुलरूआ बेटा कि हर ओर चीख पुकार से लोग गमगीन थे। परिवार के अन्य सदस्यों के आंखों से केवल आंसू ही निकल रहे थे। बोलने की स्थिति में नहीं थे। सुबोध अपने माता - पिता के पांच संतानों पांचों भाई में बड़ा था। उसके पास एक पुत्री माही कुमारी (12) है।