Samastipur News: बिल्डिंग तो बन गया लेकिन नहीं है खेल का मैदान, समस्तीपुर में 213 स्कूल भूमि-भवनहीन
समस्तीपुर जिले के कई स्कूलों में खेल मैदान की कमी है जिससे छात्रों का शारीरिक विकास बाधित हो रहा है। कई विद्यालयों में भूमि उपलब्ध नहीं होने के कारण खेल गतिविधियाँ प्रभावित हैं। सरकार ने मैदान बनाने की घोषणा की है लेकिन भूमि की उपलब्धता एक चुनौती है। खेल मैदान के अभाव में बच्चे खेल प्रतियोगिताओं में भाग लेने से वंचित रह जाते हैं।

जागरण संवाददाता, समस्तीपुर। बच्चों के सर्वांगीण विकास में खेलों की भी खास अहमियत है। स्कूल में पीटी एवं शारीरिक शिक्षकों की नियुक्ति के पीछे भी विद्यार्थियों को खेलों में निपुण बनाए जाने की सोच है मगर जमीनी हकीकत वैसी नहीं है।
जिले के कई सरकारी एवं निजी स्कूल में खेल मैदान उपलब्ध नहीं हैं। कई ग्रामीण क्षेत्र के स्कूल के आसपास भी कोई खेल मैदान नहीं हैं और जहां है तो चारदीवारी नहीं है। ऐसे में कई खेल प्रतिभाएं बस बस्ते के बोझ तले ही दबी रह जाती हैं।
शहर के माधुरी चौक स्थित राजकीयकृत मध्य विद्यालय गोल्फ फील्ड में खेल का मैदान नहीं है। विद्यालय सड़क के दोनों ओर संचालित होता है। भवन के बाहर थोड़ी सी जगह में भी बच्चे खेलकूद करते है। एचएम ने बताया कि बच्चों को खेलने के लिए जगह की समस्या है। लेकिन बगल के विद्यालय में ले जाकर खेलकूद की गतिविधि कराई जाती है।
सरकार ने माध्यमिक और प्लस टू स्कूलों में खेल के मैदान बनाने का एलान किया है। पंचायत के माध्यम से खेल का मैदान बनवाएगी। निर्माण के लिए 15वें वित्त आयोग से राशि खर्च की जाएगी।
अब सवाल यह उठता है कि जिन स्कूलों के पास जमीन नहीं है, वहां मैदान कैसे बनेगा। जिला शिक्षा पदाधिकारी कामेश्वर प्रसाद गुप्ता ने बताया कि जिले के सरकारी विद्यालयों में भूमि की समस्या है। इसको लेकर विभागीय स्तर पर प्रक्रिया चल रही है।
213 विद्यालय भूमि व भवनहीन
जिले में कुल 403 प्लस टू स्कूल संचालित किया जा रहा है। इसमें 213 विद्यालय भूमि-भवनहीन है। ऐसे में कई विद्यालयों में बच्चों के पढ़ने के लिए भवन तो है लेकिन खेल मैदान नहीं है।
विद्यालय भवन के सामने बस थोड़ी सी जगह है। यहां बच्चों के लिए उछल-कूद करना भी मुश्किल काम है। ऐसे हैं जहां बच्चों के खेलने के लिए मैदान ही नहीं है वहां विद्यालयों में मौजूद शारीरिक शिक्षक खेल के बदले बच्चों को पढ़ाने के काम आते हैं।
खेल मैदान के अभाव में खेल प्रतियोगिता में अपना जौहर दिखाने से बच्चे वंचित रह जाते हैं। जबकि संकुल स्तरीय प्रतियोगिता से लेकर जिला और राज्य स्तर की प्रतियोगिता स्कूली बच्चों के लिए आयोजित की जाती है। यहां तक कि प्रखंड स्तरीय प्रतियोगिता के लिए भी विद्यालय से काफी दूर निजी मैदान का ही उपयोग किया जाता है।
समस्तीपुर प्रखंड के इन विद्यालयों में भूमि की कमी
उच्च माध्यमिक विद्यालय नीरपुर, उच्च माध्यमिक विद्यालय मोहनपुर, उच्च माध्यमिक विद्यालय बिक्रमपुर बांदे, उच्च माध्यमिक विद्यालय सिंघिया खुर्द, उच्च माध्यमिक विद्यालय रहीमपुर रुदौली, उच्च माध्यमिक विद्यालय पोखरैड़ा, उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय बिशनपुर, उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय धुरलख, उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय बाजितपुर, उच्च माध्यमिक विद्यालय जितवारपुर चौथ, उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय चकनूर, उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय मोरदीवा, उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय बेला पचरूखी, उच्च माध्यमिक विद्यालय बेझा डीह, उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय छतौना, उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय नवादा, राजकीयकृत मध्य विद्यालय गोल्फ फील्ड रेलवे कॉलोनी।
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