वाल्मीकिनगर में अचानक पर्यटकों के सामने आया बाघ, बोले- 'लाइफटाइम मोमेंट'
वाल्मीकिनगर में जंगल सफारी कर रहे पर्यटकों के सामने अचानक एक बाघ आ गया। इस अप्रत्याशित घटना से पर्यटक रोमांचित हो उठे और उन्होंने इसे अपने जीवन का एक अनमोल पल बताया। बाघ को इतने करीब से देखकर वे बेहद खुश थे।

जंगल सफारी करने वाले औरंगाबाद के पर्यटक : सौ पर्यटक
संवाद सूत्र, वाल्मीकिनगर ( पश्चिम चंपारण)। पर्यटन नगरी वाल्मीकिनगर अपने प्राकृतिक और नैसर्गिक सुंदरता को लेकर देश सहित विदेशों में भी अपनी ख्याति तेजी से बटोर रहा है।जिसको देखने की लालसा लिए आए दिन सैकड़ों की संख्या में पर्यटक दूर दराज से वाल्मीकि टाइगर रिजर्व में पहुंचते हैं।
धूप खिली तो जंगल सफारी शुरू
पर्यटन सत्र शुरू होने के ठीक बाद लगातार बारिश होने के कारण लगभग पांच दिनों तक जंगल सफारी बंद था। खिली धूप के साथ ही बुधवार से जंगल सफारी फिर से शुरू हो गया। जंगल सफारी शुरू होने के साथ ही सुबह में जंगल सफारी पर गए बिहार के औरंगाबाद से आए एक परिवार को बाघ का समीप से दीदार हुआ। जिसे देख पर्यटक भयभीत और रोमांचित हो उठे।
पहली बार वाल्मीकिनगर आए थे यह पर्यटक
पर्यटकों में भानु प्रताप,अनुप कुमार,सोनम कुमारी,रुचि कुमारी,अंजू देवी ने बताया कि हमलोग पहली बार वाल्मीकिनगर पर्यटन के लिए आए थे। हमने सुना था कि यहां जंगल सफारी के दौरान जंगली जानवरों का दीदार नजदीक से होता है।यहां के बारे में जितना सुना था उससे ज्यादा देखने को मिला।
सफारी के दौरान बाघ, हिरण,मोर,सांप सहित कई अन्य जानवरों को देख कर हमें काफी डर भी लगा और अच्छा भी लगा। जिससे हम लोगों में रोमांच पैदा हो उठा।हमारा यहां पहली बार आना काफी सुखद रहा। मौका मिला तो हम फिर जरूर आएंगे। रेंजर अमित कुमार ने बताया कि पर्यटकों की संतुष्टि ही हमारी पहली प्राथमिकता है। पर्यटन पर आए पर्यटकों को हर सुविधा उपलब्ध हो सके, इसके लिए वन प्रशासन लगातार प्रयासरत है।

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