'टैरिफ में 15% कटौती के लिए मजबूर होगा ट्रंप प्रशासन', थिंक टैंक का बड़ा दावा; भारत को लेकर क्या कहा?
थिंक टैंक GTRI ने ट्रंप टैरिफ (Trump Tariffs) को लेकर कहा है कि नई दिल्ली के सामने विकल्प सीमित हैं। इसमें बातचीत करना जवाबी कार्रवाई करना बाजार में विविधता लाना या टैरिफ राहत के लिए रूसी तेल की खरीद बंद करने जैसे कदम हैं। हर विकल्प के अपने फायदे और नुकसान हैं। थिकं टैंक ने अमेरिका को लेकर भी बड़ा दावा किया।

नई दिल्ली | आर्थिक थिंक टैंक जीटीआरआई (GTRI) ने शुक्रवार को कहा कि भारत को अमेरिका (Trump Tariffs India) के भारी टैरिफ का जवाब देने में कठिन विकल्पों का सामना करना पड़ रहा है।
GTRI ने कहा कि टैरिफ के संबंध में अमेरिका के साथ बातचीत करना हो या जवाबी कार्रवाई करना हो, निर्यात बाजारों में विविधता लाना हो या रूसी तेल आयात बंद करने जैसी व्यापार रियायतें देना हो, हर विकल्प के अपने फायदे और नुकसान हैं।
ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनिशिएटिव (GTRI) ने कहा कि भारत इस साल अपना स्वतंत्रता दिवस अमेरिका के साथ एक गंभीर व्यापार टकराव की छाया में मना रहा है।
ट्रंप प्रशासन द्वारा मौजूदा मोस्ट फेवर्ड नेशन ड्यूटी के अलावा, अधिकांश भारतीय वस्तुओं पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाने के फैसले ने भारत को एक रणनीतिक दुविधा में डाल दिया है। यह उसके व्यापार, ऊर्जा और कूटनीतिक स्थिति को नया रूप दे सकता है।
नई दिल्ली के सामने विकल्प सीमित- GTRI
GTRI के संस्थापक अजय श्रीवास्तव ने कहा, "नई दिल्ली के सामने विकल्प सीमित हैं। इसमें बातचीत करना, जवाबी कार्रवाई करना, बाजार में विविधता लाना या टैरिफ राहत के लिए रूसी तेल की खरीद बंद करने जैसे कदम हैं। हर विकल्प के अपने फायदे और नुकसान हैं।"
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उन्होंने आगे कहा कि भारत को उच्च टैरिफ को झेलने और यूरोप, आसियान, अफ्रीका, पश्चिम एशिया और दक्षिण अमेरिका में निर्यात में विविधता लाने के लिए संरचनात्मक सुधारों और आक्रामक व्यापार कूटनीति की आवश्यकता होगी।
50 अरब डॉलर में से 15 डॉलर के नुकसान की भरपाई
उन्होंने कहा कि पहले दो वर्षों में हुए लाभ से 50 अरब डॉलर के नुकसान में से केवल 10-15 अरब डॉलर की ही भरपाई हो पाएगी। अगर अमेरिकी टैरिफ से अमेरिका में उपभोक्ता मूल्य और बेरोजगारी बढ़ेगी, तो घरेलू राजनीतिक दबाव ट्रंप प्रशासन को सभी देशों के लिए टैरिफ में लगभग 15 प्रतिशत की कटौती करने के लिए मजबूर कर सकता है।
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भारत की भूमिका- टैरिफ की लागत को उजागर करना
श्रीवास्तव ने कहा, "यहां भारत की सबसे अच्छी भूमिका अमेरिकी मतदाताओं पर टैरिफ की लागत को चुपचाप उजागर करना है।" उन्होंने आगे कहा कि ऐसे युग में जब आर्थिक शक्ति को एक हथियार के रूप में इस्तेमाल किया जा रहा है, अस्तित्व का मतलब टकराव से बचना नहीं है। उन्होंने कहा, "यह सही लड़ाइयां चुनने, अगले कदम का अनुमान लगाने और दीर्घकालिक जीत के लिए खेलने के बारे में है।"
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