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    DDCA के अंदर सचिव पद को लेकर उठे सवाल, डायरेक्टर ने रोहन जेटली से की बात

    Updated: Tue, 02 Sep 2025 06:00 AM (IST)

    दिल्ली एंड डिस्ट्रिक्ट क्रिकेट एसोसिएशन के सचिव अशोक शर्मा का कार्यकाल खत्म हो गया है लेकिन इसके बाद भी इस पद के लिए चुनाव कराए जाने की बात तक नहीं हो रही है। इसे लेकर डीडीसीए के डायरेक्टर श्याम सुंदर शर्मा ने अध्यक्ष रोहन जेटली को मैसेज भी किया है और कहा है कि लोढ़ा कमेटी की सिफारिशों का पालन हो।

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    रोहन जेटली डीडीसीए के वर्तमान अध्यक्ष हैं

    लोकेश शर्मा, जागरण, नई दिल्ली: दिल्ली एंड डिस्ट्रिक्ट क्रिकेट एसोसिएशन (डीडीसीए) में एक बार फिर प्रशासनिक हलचल तेज हो गई है। डीडीसीए के सचिव अशोक शर्मा का नौ वर्ष का कार्यकाल सितंबर माह में समाप्त होने जा रहा है, लेकिन इस पद पर चुनाव की चर्चा तक शुरू नहीं हुई है। इसे लेकर अब डीडीसीए के डायरेक्टर और सदस्य सवाल खड़े करने लगे हैं।

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    डीडीसीए के डायरेक्टर और पूर्व बीसीसीआई कानून सलाहकार श्याम सुंदर शर्मा ने डीडीसीए अध्यक्ष रोहन जेटली को व्हाट्सएप ग्रुप पर संदेश भेजते हुए स्पष्ट कहा है कि लोढ़ा समिति की सिफारिशों का पालन अनिवार्य है। उनके इस मैसेज से सचिव पद के चुनाव समय पर कराने की मांग भी तेजी से उठने लगी है। उन्होंने सितंबर के पहले सप्ताह में एपेक्स काउंसिल की बैठक बुलाने की भी मांग की, ताकि न केवल आगामी चुनाव पर चर्चा हो सके बल्कि लोढ़ा समिति के नियमों को सही मायनों में लागू किया जा सके।

    सख्ती से हो रहा है नियमों का पालन

    बीसीसीआई जैसे बड़े संगठन में भी नियमों का पालन सख्ती से हो रहा है। बीसीसीआई अध्यक्ष रोजर बिन्नी ने 70 वर्ष की आयु पूरी होने पर पद से इस्तीफा दिया। इसी प्रकार मध्य प्रदेश क्रिकेट संघ के माहिम वर्मा को भी आयु सीमा पूरी होने के बाद पद छोड़ना पड़ा और उनकी जगह उनकी पत्नी को चुनावी मैदान में उतारा गया। लेकिन डीडीसीए में स्थिति अलग है, यहां इस्तीफा और चुनाव दोनों ही मुद्दे चर्चा से बाहर हैं।

    फैसले की अवहेलना

    सचिव पद पर कार्यकाल पूरा होने के बाद भी चुनाव न कराना, लोढ़ा कमेटी के फैसले की अवहेलना है। बीसीसीआई जैसे बड़े संघों में पदाधिकारी स्वयं इस्तीफा देकर नियमों की गरिमा बनाए रखते हैं, लेकिन डीडीसीए में इसका पालन नहीं हो रहा।

    वहीं, उन्होंने डीपीएल सीजन-2 की सफलता का भी उल्लेख किया और कहा कि इसने युवाओं को अपनी प्रतिभा दिखाने का अवसर दिया है। कई खिलाड़ियों का प्रदर्शन इतना शानदार रहा कि वह भविष्य में आइपीएल तक पहुंचने का मार्ग प्रशस्त कर सकता है। अब समय आ गया है कि डीडीसीए प्रशासन पारदर्शिता और नियमों के पालन की दिशा में ठोस कदम उठाए।