Ikkis की शूटिंग के समय कैसा था Dharmendra का स्वास्थ्य, डायरेक्टर बोले- 'वो थक जाते लेकिन...'
दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का 24 नवंबर को निधन हो गया था। उनकी आखिरी फिल्म 'इक्कीस' थी, जिसे श्रीराम राघवन ने निर्देशित किया है, जिसमें उन्होंने अमिताभ बच्चन के नाती अगस्त्य नंदा के साथ काम किया। राघवन ने बताया कि धर्मेंद्र ने फिल्म में ब्रिगेडियर एमएल खेत्रपाल का किरदार निभाया और शूटिंग के दौरान वे काफी उत्साहित और समर्पित थे। कुछ सीन्स के दौरान वो काफी ज्यादा थक भी जाते थे।
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धर्मेंद्र की आखिरी फिल्म इक्कीस (फोटो-इंस्टाग्राम)
एंटरटेनमेंट डेस्क, नई दिल्ली। सिनेमा के दिग्गज कलाकार धर्मेंद्र (Dharmendra) का 24 नवंबर को निधन हो गया था। इसी दिन खबर आने से ठीक पहले उनकी आखिरी फिल्म इक्कीस का पोस्टर रिलीज किया गया था दिलमें वो अमिताभ बच्चन के नाति अगस्त्य नंदा के साथ नजर आने वाले थे। इस फिल्म को श्रीराम राघवन ने डायरेक्ट किया है। अपनी आखिरी फिल्म की शूटिंग के दौरान एक्टर का कैसा रिएक्शन था इस बारे में निर्देशक ने विस्तार से बताया है।
फिल्म में क्या था धर्मेंद्र का रोल?
एनडीटीवी के साथ बातचीत में श्रीराम राघवन ने धर्मेंद्र के निधन को व्यक्तिगत क्षति बताया। उन्होंने इक्कीस के सेट पर फिल्मों के बारे में बात की और याद किया कि एक्टर के साथ 18 साल बाद जुड़ना उनके लिए कैसा अनुभव रहा। इससे पहले दोनों ने जॉनी गद्दार में साथ काम किया था। इक्कीस में धर्मेंद्र ने ब्रिगेडियर एमएल खेत्रपाल की भूमिका निभाई है, जो 1971 के युद्ध के नायक सेकंड लेफ्टिनेंट अरुण खेत्रपाल के पिता हैं। अरुण खेत्रपाल का रोल अगस्त्य नंदा ने निभाया है। इस पोस्टर के बैकग्राउंड में धर्मेंद्र की आवाज भी है, जिसमें वह कहते हैं, यह मेरा बड़ा बेटा अरुण है और यह हमेशा 21 का ही रहेगा। इन आखिरी लम्हों में एक्टर की आवाज सुनकर उनके फैंस और भी ज्यादा इमोशनल हो गए।
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श्रीराम राघवन ने जाहिर की खुशी
इक्कीस एक वॉर ड्रामा फिल्म है जिसकी कहानी सच्ची घटना पर आधारित है। अरुण खेत्रपाल भारत के सबसे युवा परमवीर चक्र विजेता थे, जिन्होंने 1971 के भारत–पाक युद्ध में असाधारण वीरता दिखाई थी। धर्मेंद्र के उन आखिरी पलों के बारे में बात करते हुए राघवन ने कहा,"मुझे बहुत खुशी है कि उन्होंने यह फिल्म की और उन्होंने बहुत अच्छा काम किया है। उन्होंने फिल्म डब में देखी थी, लेकिन मैं चाहता था कि वे इसे बैकग्राउंड म्यूजिक, इफेक्ट्स वगैरह के साथ देखें। मैं चाहता था कि वे वहां ज्यादा समय तक रहें। ऐसा ही हुआ। मुझे बहुत खुशी है कि उन्हें कोई तकलीफ नहीं हुई।" श्रीराम राघवन धर्मेन्द्र के स्वास्थ्य पर नजर रख रहे थे, लेकिन उन्होंने कहा कि उन्होंने कभी भी देओल परिवार से व्यक्तिगत रूप से संपर्क नहीं किया,क्योंकि उन्हें लगा कि ये हस्तक्षेप ठीक नहीं होगा।
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राघवन ने बताया कि उन लोगों ने धरम जी के साथ फिल्म की डबिंग अक्टूबर में की थी, उस समय वह ठीक थे। डबिंग के दौरान बातचीत हुई थी। उन्होंने फिल्म के अन्य हिस्से भी देखे और इसके बारे में बात भी की। राघवन ने कहा- मुझे उम्मीद नहीं थी कि ऐसा होगा। हम सभी ने प्रार्थना की और सोचा कि सबकुछ अच्छा हो जाए लेकिन..."
कहां-कहां हुई फिल्म की शूटिंग
इक्कीस की शूटिंग चंडीगढ़, लखनऊ, दिल्ली और पुणे में हुई है। स्टूडियो बेस्ड शूटिंग न होने की वजह से ये थोड़ा थका देने वाला शेड्यूल रहा इसलिए वह थक जाते थे और कभी-कभी हमारा शेड्यूल बहुत व्यस्त हो जाता था। मैं उनसे कहता था, 'सर, सीन में एक और शॉट है' और वह कहते थे, 'हां बताओ'। मुझे पता था कि वह थके हुए हैं, लेकिन वह कहते थे, 'ठीक है, ठीक है, करते हैं'। और जब कैमरा चालू होता, तो वह जादू कर देते थे। वह अविश्वसनीय थे।"

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