पंचकूला: गुस्साए डॉक्टरों का डीजी मुख्यालय पर धरना, एनपीए और SCP और SMO भर्ती की मांगों पर सरकार को ज्ञापन
पंचकूला में डॉक्टरों ने प्रदेशव्यापी प्रदर्शन किया और डीजी मुख्यालय पर धरना दिया। उन्होंने डीजी हेल्थ को ज्ञापन सौंपा और अपनी मांगों पर सरकार की उदासीनता पर नाराजगी जताई। डॉक्टरों ने एनपीए लागू करने, एससीपी के वादे को पूरा करने और एसएमओ की सीधी भर्ती को बहाल करने की मांग की। एसोसिएशन आगे की रणनीति पर विचार करेगी।

पंचकूला में डॉक्टरों ने प्रदेशव्यापी प्रदर्शन किया और डीजी मुख्यालय पर धरना दिया (फाइल फोटो)
जागरण संवाददाता, पंचकूला। प्रदेशभर में डाक्टरों ने हुंकार भरी और वीरवार को डीजी मुख्यालय पर जमकर नारेबाजी करते हुए धरना दिया। डीजी हेल्थ (वन) को सरकार के नाम ज्ञापन सौंपा। इस दौरान डाक्टरों की डीजी हेल्थ से तीखी बहस हुई और उनकी मांगों को लेकर उदासीनता दिखाने पर नाराजगी जाहिर की।
डीजी हेल्थ मनीष बंसल ने डाक्टरों को आश्वस्त किया कि वे उनकी मांगों को लेकर सरकार तक ज्ञापन पहुंचाने का आश्वासन दिया। डाक्टरों ने सुबह जहां गेट मीटिंग की और पूरे राज्य से आए प्रतिनिधियों ने चर्चा की।
इस दौरान मौके पर पुलिस फोर्स भी एकत्र थी, शोरगुल व नारेबाजी के बीच में डीजी को ज्ञापन लेने के लिए बाहर बुलाने की शर्त रखी। लेकिन पुलिस कर्मियों ने एसोसिएशन को कहा कि वे अंदर जाकर ज्ञापन सौंप दें।
डीजी हेल्थ के साथ में प्रदेश के विभिन्न हिस्सों से आए एसोसिएशन की ओर से प्रधान डा. राजेश ख्यालिया ने कहा कि राजस्थान की तर्ज पर एनपीए (नान प्रैक्सिंग अलाउंस) कर दिया जाए। एससीपी जो सीएम और वित्त विभाग, एसीएस ने जब मुहर लगा दी थी, तो उस वादे को पूरा किया जाए।
इसके अलावा सीधे ही एसएमओ की भर्ती को लेकर जब पहले ही फैसला हो चुका था, तो उसको दोबारा से टाला जाए। जिस वक्त स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने एसएमओ की सीधे भर्ती से इनकार कर दिया था।
अब यह मामला कैसे उठाया जा रहा था। कईं मुद्दों पर डीजी हेल्थ के साथ में तीखी बहस भी हुई, जिस पर डीजी ने सरकार तक उनकी मांगों को पहुंचाने का आश्वासन दिया है।इस दौरान अध्यक्ष डा. राजेश ख्यालिय
एसोसिएशन एक बार फिर शनिवार को ऑनलाइन मंथन किया जाएगा, जिसके बाद में आगे की रणनीति तैयार की जाएगी। शनिवार को आगे की ऱणनीति और आंदोलन पर विचार किया जाएगा।
एसीपी में वृद्धि का सैद्धांतिक फैसला हो जाने के बाद भी इसका नोटिफिकेशन नहीं होने पर नाराजगी जाहिर करते हुए पदोन्नति से भरने की मांग की है। हरियाणा सिविल मेडिकल सर्विस एसोसिएशन ने पूर्व स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज के मंत्री रहते विरोध जताया, तो उन्होंने सीधी भर्ती पर रोक लगा दी थी।

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