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    हिमाचल में TGT भर्ती और पीजी परीक्षाएं एक साथ; दिसंबर में 11 पेपर हो रहे क्रैश; हजारों युवा असमंजस में

    By Pushap Raj Edited By: Rajesh Sharma
    Updated: Tue, 18 Nov 2025 04:35 PM (IST)

    हिमाचल प्रदेश में हजारों छात्र दिसंबर में टीजीटी भर्ती परीक्षा और सरदार पटेल विश्वविद्यालय की सेमेस्टर परीक्षाओं की तारीखों के टकराव से परेशान हैं। 15 से 17 दिसंबर के बीच 11 पेपर एक साथ होने से छात्रों को भारी नुकसान हो सकता है। छात्र संगठनों ने परीक्षा तिथियों में बदलाव की मांग की है, ताकि छात्रों को दोनों परीक्षाओं में शामिल होने का अवसर मिल सके।

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    टीजीटी भर्ती और पीजी परीक्षाएं दिसंबर में एक साथ होने से विद्यार्थी परेशान हैं। प्रतीकात्मक फोटो

    संवाद सहयोगी, मंडी। हिमाचल प्रदेश के हजारों नियमित और पूरक परीक्षा देने वाले विद्यार्थियों के सामने दिसंबर में बड़ी दुविधा खड़ी हो गई है। एचपीएसएससी (हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग) की बहुप्रतीक्षित प्रशिक्षित स्नातक शिक्षक (टीजीटी) भर्ती परीक्षा की तिथियां सीधे तौर पर सरदार पटेल विश्वविद्यालय की सेमेस्टर परीक्षाओं से टकरा रही हैं।

    छात्रों ने एसपीयू प्रशासन से तत्काल सेमेस्टर परीक्षाओं की तिथियों में बदलाव करने की मांग उठाई है। आयोग की ओर से टीजीटी मेडिकल और टीजीटी नान-मेडिकल की लिखित परीक्षाओं की तिथियां दो चरणों में घोषित की गई हैं।

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    एमएससी और बीएड की परीक्षाएं भी इन्हीं दिनों 

    पहला चरण 15 से 17 दिसंबर के बीच और दूसरा चरण 25 से 27 दिसंबर के बीच आयोजित होगा। यही वह समय है जब एमएससी और बीएड जैसे पाठ्यक्रमों के नियमित और पूरक परीक्षा में भाग लेने वाले छात्रों की सेमेस्टर परीक्षाएं होनी हैं। 

    15 से 17 दिसंबर को 11 पेपर हो रहे क्रैश


    अकेले 15 और 17 दिसंबर की टीजीटी परीक्षाओं के साथ एसपीयू के विभिन्न विषयों के 11 पेपर क्रैश हो रहे हैं। इस टकराव के कारण बड़ी संख्या में ऐसे छात्र जो सरकारी शिक्षक बनने की तैयारी कर रहे हैं और जिन्होंने टीजीटी परीक्षाओं के लिए आवेदन किया है, वे अपनी नियमित सेमेस्टर परीक्षा या टीजीटी परीक्षा में से किसी एक को ही चुन पाएंगे।

    छात्र संगठनों ने भी की तिथियों में बदलाव की मांग

    विद्यार्थी संगठनों ने मांग की है कि प्रशासन को छात्रों के भविष्य को ध्यान में रखते हुए, सरकारी नौकरी प्राप्त करने और अपनी नियमित डिग्री पूरी करने, दोनों के लिए अवसर प्रदान करना चाहिए। यदि तिथियों में बदलाव नहीं किया जाता है तो प्रदेश के हजारों छात्रों को भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है। विद्यार्थियों ने विश्वविद्यालय प्रशासन को जल्द ही इस संबंध में आधिकारिक घोषणा करने की मांग उठाई हैं।

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    उक्त समस्या को लेकर छात्रों का प्रतिनिधिमंडल भी आया था, दिनांक सूची अभी अस्थाई तौर पर जारी की गई थी। विद्यार्थियों की सुविधा को देखते हुए दिनांक सूची में बदलाव कर दिया जाएगा।
    -प्रो. ललित अवस्थी, कुलपति, सरदार पटेल विश्वविद्यालय, मंडी।