Jharkhand News: अनुराग गुप्ता को DGP मानने पर UPSC ने जताई असहमति, प्रोन्नति समिति की बैठक हुई रद
संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) ने झारखंड के डीजीपी अनुराग गुप्ता को डीजीपी मानने से इनकार कर दिया है जिसके चलते प्रोन्नति समिति की बैठक रद्द हो गई। यूपीएससी ने राज्य सरकार को पहले ही बता दिया था कि अनुराग गुप्ता को डीजीपी के रूप में स्वीकार नहीं किया जाएगा। केंद्र और राज्य सरकार के बीच इस मुद्दे पर टकराव जारी है।

राज्य ब्यूरो, रांची। संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) ने झारखंड के डीजीपी अनुराग गुप्ता को डीजीपी के रूप में स्वीकार नहीं किया है। राज्य पुलिस सेवा से भारतीय पुलिस सेवा संवर्ग में प्रोन्नति के लिए यूपीएससी में गठित समिति में संबंधित राज्य के मुख्य सचिव, गृह सचिव व डीजीपी नामित सदस्य होते हैं। डीजीपी अनुराग गुप्ता के नाम पर यूपीएससी ने असहमति जताई, जिसके चलते मंगलवार को प्रोन्नति समिति की बैठक टल गई है।
यही वजह है कि मंगलवार को प्रस्तावित प्रोन्नति समिति की बैठक नहीं हो सकी। इस बैठक के लिए अगली तिथि भी निर्धारित नहीं हुई है। यूपीएससी में आईपीएस संवर्ग में प्रोन्नति के लिए राज्य से 17 सीनियर डीएसपी की फाइल भेजी गई थी।
कुल नौ रिक्त पदों पर प्रोन्नति के लिए यह बैठक प्रस्तावित थी। इसमें बैठक में शामिल होने वालों में मुख्य सचिव अलका तिवारी, गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग की प्रधान सचिव वंदना दादेल व डीजीपी अनुराग गुप्ता को शामिल होने संबंधित सूचना यूपीएससी को दी गई थी।
यूपीएससी ने बैठक से एक दिन पहले ही पत्राचार कर राज्य सरकार को बता दिया था कि उक्त बैठक में अनुराग गुप्ता को डीजीपी के रूप में स्वीकार नहीं किया जाएगा।
इसके बावजूद मंगलवार को मुख्य सचिव व गृह सचिव शामिल हुईं और तर्क दिया कि राज्य सरकार ने अनुराग गुप्ता को डीजीपी बनाया है।
उन्हें राज्य सरकार की डीजीपी नियुक्ति नियमावली के तहत डीजीपी बनाया गया है, जो वैध है। इसके बावजूद यूपीएससी ने उनके तर्क को स्वीकार नहीं किया। इसके चलते प्रोन्नति समिति की बैठक नहीं हो सकी।
इन अधिकारी की प्रोन्नति पर होनी थी बैठक
जिन अधिकारियों की प्रोन्नति होनी थी उनमें शिवेंद्र, राधा प्रेम किशोर, मुकेश कुमार महतो, दीपक कुमार-1, मजरूल होदा, राजेश कुमार, अविनाश कुमार, रौशन गुड़िया, श्रीराम समद, निशा मुर्मू, सुरजीत कुमार, वीरेंद्र कुमार चौधरी, राहुल देव बड़ाईक, खीस्टोफर केरकेट्टा, प्रभात रंजन बरवार, अनूप कुमार बड़ाईक व समीर कुमार तिर्की शामिल हैं।
डीजीपी अनुराग गुप्ता के मुद्दे पर केंद्र-राज्य के बीच टकराव बरकरार
डीजीपी अनुराग गुप्ता के मुद्दे पर केंद्र व राज्य सरकार के बीच टकराव बरकरार है। केंद्र सरकार ने अनुराग गुप्ता को 30 अप्रैल को ही सेवानिवृत्त माना है। इसे लेकर केंद्र ने राज्य सरकार को कई बार पत्राचार भी किया था और उन्हें डीजीपी के पद से हटाने का निर्देश दिया था।
इसके बावजूद अनुराग गुप्ता को राज्य सरकार ने डीजीपी के पद पर बैठा रखा है। केंद्र ने डीजीपी की नियुक्ति को लेकर बनी झारखंड सरकार की नियुक्ति नियमावली को भी नियम विरुद्ध माना है और उसके आधार पर अनुराग गुप्ता के सेवा विस्तार को असंवैधानिक बताया है।
केंद्र के पत्राचार के बावजूद राज्य सरकार अपने निर्णय पर अडिग है और अनुराग गुप्ता का डीजीपी के पद पर सेवा विस्तार को वैध बताया है।
इसे लेकर राज्य सरकार ने भी केंद्र को अपना तर्क देते हुए जवाब भी भेजा था। केंद्र व राज्य के बीच डीजीपी अनुराग गुप्ता के मुद्दे पर एक-दूसरे के तर्क पर अब तक सहमति नहीं बन सकी है।

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