'अभी कई और ब्लास्ट होंगे', आतंकिस्तान का हैंडलर कर रहा दिल्ली धमाके की तारीफ, वीडियो में किसे कोसा?
दिल्ली में लाल किले के पास हुए धमाके को लेकर पाकिस्तान स्थित हैंडलर का एक वीडियो सामने आया है। वीडियो में धमाके की तारीफ की गई है और कई लोगों को धमकी दी गई है। रामेश्वरम कैफे विस्फोट के हैंडलर ने कहा कि हमले का निशाना मुसलमान नहीं थे। एजेंसियों ने डार्क वेब से यह वीडियो बरामद किया है, जिसमें उस्ताद फरहतुल्लाह गौरी की आवाज है।

दिल्ली में लाल किले के पास हुआ धमाके का मामला। (फाइल फोटो)
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। दिल्ली में लाल किले के पास हुए आत्मघाती विस्फोट और पाकिस्तान के बीच एक और बड़ा संबंध स्थापित हुआ है। पाकिस्तान-स्थित हैंडलर का एक प्रोपेगैंडा वीडियो सामने आया है, जिसमें वो दिल्ली धमाके की तारीफ कर रहा है और कई लोगों को धमकी दे रहा है।
पिछले साल बेंगलुरु के रामेश्वरम कैफे में हुए विस्फोट को अंजाम देने वाले आतंकी मॉड्यूल के हैंडलर के बनाए गए इस वीडियो में यह भी कहा गया है कि इस हमले का निशाना मुसलमान नहीं थे।
एजेंसियों ने डार्क वेब से बरामद किया वीडियो
जैश-ए-मोहम्मद (JeM) और लश्कर-ए-तैयबा (LeT) जैसे पाकिस्तान स्थित आतंकवादी संगठनों की ओर से संचालित डार्क-वेब चैनलों से एजेंसियों ने 5 मिनट 35 सेकंड का एक वीडियो बरामद किया है। वीडियो में आवाज की पहचान उस्ताद फरहतुल्लाह गौरी उर्फ शाहिद फैसल के रूप में हुई है।
एजेंसियों के मुताबिक, मूल रूप से कर्नाटक का रहने वाला फैसल 2012 में सऊदी अरब भाग गया और फिर पाकिस्तान चला गया। माना जाता है कि वह जैश और लश्कर जैसे आतंकी संगठनों के साथ-साथ पाकिस्तान की कुख्यात खुफिया एजेंसी आईएसआई के साथ मिलकर काम कर रहा है।
वीडियो में क्या है?
रामेश्वरम कैफे में हुए ब्लास्ट के हैंडलर फैजल से जब दिल्ली धमाके को लेकर विचार पूछे गए तो उसने कहा, कुछ मुसलमान भी मारे गए लेकिन वह टारगेट नहीं थे। आत्मघाती बम विस्फोट का सही ठहराते हुए वह इस तरह के कामों को लेकर इस्लाम की आलोचना करने वाले मुसलमानों को भी वह खरी-खोटी सुनाता है।
उसने दावा किया कि उसे नहीं पता कि हमला किसने किया, लेकिन कहा कि यह अन्याय का परिणाम है और चेतावनी दी कि इसके बाद और भी हमले होंगे।
इससे पहले उमर का वीडियो आया था सामने
दिल्ली बम धमाकों के आरोपी डॉ. उमर मोहम्मद उर्फ उमर-उन-नबी का फुटेज भी सामने आया था, जिसमें वह कहता है, आत्मघाती बम विस्फोट जैसा कुछ नहीं होता, सिर्फ "शहादत अभियान" होता है।
वह कहता है, "सबसे गलतफहमी वाली अवधारणाओं में से एक वह अवधारणा है जिसे आत्मघाती बम विस्फोट कहा जाता है। यह एक शहादत अभियान है... जिसे इस्लाम में जाना जाता है। अब इसमें कई विरोधाभास हैं इसके खिलाफ कई तर्क दिए गए हैं।"

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