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    बांग्लादेश में हुई पाकिस्तान की फजीहत, उच्चायुक्त के भागने से करना पड़ रहा शर्मिंदगी का सामना

    Updated: Tue, 13 May 2025 11:17 PM (IST)

    बांग्लादेश में पाकिस्तानी उच्चायुक्त सैयद अहमद मारूफ की अनैतिक गतिविधियों ने पाकिस्तान को शर्मिंदगी में डाल दिया। महिला बैंक अधिकारी से अवैध संबंध और चरमपंथी संगठनों से जुड़ाव उजागर होने के बाद वे 11 मई को ढाका से भाग गए। यह मामला ढाका से इस्लामाबाद तक कूटनीतिक हलकों में चर्चा का विषय बना हुआ है। यह बांग्लादेश से पाकिस्तानी राजनयिकों की तीसरी विवादास्पद वापसी है।

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    बांग्लादेश में पाकिस्तानी उच्चायुक्त का Scandal, चरमपंथी संबंधों के साथ भागा।

    आईएएनएस, ढाका। बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के साथ निकटता बढ़ाने में जुटे पाकिस्तान को अपने ही उच्चायुक्त सैयद अहमद मारूफ की अनैतिक गतिविधियां के चलते फजीहत और शर्मिंदगी का सामना करना पड़ रहा है। इन मामलों के उजागर होने पर उन्हें देश से भागना पड़ा है। उनके अचानक गायब होने की चर्चा न केवल इंटरनेट मीडिया बल्कि ढाका से लेकर इस्लामाबाद तक के राजनीतिक और कूटनीतिक हलकों में है।

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    बांग्लादेशी विदेश मंत्रालय के सूत्रों के हवाले से स्थानीय मीडिया ने बताया कि बांग्लादेश में पाकिस्तानी उच्चायुक्त मारूफ 11 मई से अनिश्चितकालीन छुट्टी पर हैं और वर्तमान में देश से बाहर हैं। यह भी पता चला कि वह बगैर किसी प्रोटोकाल या औपचारिकता के वाया दुबई, ढाका से पाकिस्तान के लिए रवाना हुए।

    महिला को होटल में बुलाया

    ढाका में पाकिस्तान के उप उच्चायुक्त मोहम्मद आसिफ मारूफ की अनुपस्थिति में कार्यवाहक उच्चायुक्त के रूप में कार्य कर रहे हैं। इंटरनेट मीडिया पर कई पोस्ट से यह पता चला है कि 2023 में उच्चायुक्त का पद संभालने वाले मारूफ ने काक्स बाजार के एक होटल में एक महिला को बुलाया था।

    एक अधिकारी ने बताया, ''मारूफ का संबंध हफीजा हक शाह के साथ रहा, जो बांग्लादेशी बैंक में वरिष्ठ अधिकारी है। पाकिस्तान दूतावास के अधिकारी भी यह जानते थे, क्योंकि वह नियमित रूप से उनसे मिलने आती थी। लेकिन मारूफ की काक्स बाजार की हालिया यात्रा के दौरान उनके अनैतिक संबंध उजागर हुआ।''

    यह चर्चा है कि शर्मिंदगी का सामना करने वाले पाकिस्तान के पास अपने उच्चायुक्त को वापस बुलाने के अलावा कोई विकल्प नहीं था। मारूफ आठ मई को ढाका से काक्स बाजार के लिए रवाना हुए थे और उन्हें 10 मई को लौटना था। यह तीन महीने में काक्स बाजार की उनकी दूसरी यात्रा थी। इससे पहले मारूफ ने 6-7 फरवरी को अपनी पत्नी के साथ काक्स बाजार का दौरा किया था। इस दौरान उन्होंने रोहिंग्या समूहों अराकान रोहिंग्या साल्वेशन आर्मी और जमात-ए-इस्लामी के साथ लंबी बैठक भी की थी। ये दोनों संगठन चरमपंथ से जुड़े होने के कारण अंतरराष्ट्रीय जांच के दायरे में हैं।

    पाक राजनयिकों की वापसी का तीसरा मामला

    दिलचस्प बात यह है कि बांग्लादेश से पाकिस्तानी राजनयिकों की वापसी का यह तीसरा मामला है। जनवरी 2015 में ढाका मिशन में काम कर रहे पाकिस्तानी अधिकारी माजहर खान को बांग्लादेश की खुफिया एजेंसी द्वारा इस्लामी कट्टरपंथियों को वित्तपोषण और नकली मुद्रा के प्रसार के आरोप में निष्कासित किया गया था।

    दिसंबर 2015 में पाकिस्तान ने ढाका से अपनी जूनियर राजनयिक फरीना अरशद को वापस बुला लिया था, जब बांग्लादेश में आतंकी गतिविधियों के वित्तपोषण के आरोप लगे थे।

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