चंडीगढ़ निगम चुनाव की तैयारी, संख्या नहीं बढ़ेगी पर वार्ड आरक्षण में होगा बदलाव, कई नेताओं पर संकट!
चंडीगढ़ में अगले साल होने वाले नगर निगम चुनाव के लिए वार्डों के आरक्षण की स्थिति में बदलाव किया जाएगा। वार्डों की संख्या नहीं बढ़ेगी, लेकिन आरक्षण नए सिरे से होगा। जो वार्ड अभी आरक्षित हैं, वे दोबारा आरक्षित नहीं होंगे। कई सामान्य वार्ड महिलाओं या आरक्षित वर्ग के लिए आरक्षित हो सकते हैं, जिससे कई नेताओं को अपना वार्ड बदलना पड़ सकता है। राजनीतिक दलों ने भी अपनी तैयारी शुरू कर दी है।

नगर निगम चुनाव के लिए जनवरी में वार्डबंदी करने की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी।
राजेश ढल्ल, चंडीगढ़। अगले साल होने वाले नगर निगम चुनाव के लिए प्रशासन ने नए सिरे से वार्ड के आरक्षण की स्थिति बदलने का निर्णय लिया है। जनवरी में वार्डबंदी करने की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी। संपदा विभाग के अनुसार वार्ड संख्या नहीं बढ़ाई जाएगी लेकिन वार्ड का आरक्षण नए सिरे से किया जाएगा। इस साल जहां-जहां से अवैध काॅलाेनियों को हटाया है उन्हें संबंधित वार्ड से हटा दिया जाएगा।
जो वार्ड महिला या आरक्षित वर्ग के लिए इस समय रिजर्व है उन्हें बदला जाएगा। ऐसे में कई जनरल वार्ड महिला या आरक्षित वर्ग के लिए रिजर्व कर दिए जाएंगे। ऐसा होने पर कई दिग्गज नेताओं और चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवारों की राजनीतिक स्थिति बिगड़ जाएगी उन्हें या तो अपना चुनाव लड़ने वाला वार्ड बदलना होगा या फिर चुनाव लड़ने की इच्छा छोड़नी होगी। राजनीतिक दलों ने भी इस समय संभावित वार्ड की स्थिति के अनुसार दावेदारों के नाम पर मंथन करना शुरू कर दिया है।
स्थिति बदलने पर हर राजनीतिक दल के लिए महिला और आरक्षित वार्ड पर चुनाव लड़ने वाले मजबूत उम्मीदवारों को चिन्हित करना एक बड़ी चुनौती रहती है क्योंकि हर दल पर लोकल उम्मीदवार को मैदान में उतारने का दबाव रहता है। लोकल न मिलने पर फिर दल बाहरी उम्मीदवार को तवज्जो देता है। साल 2021 के नगर निगम चुनाव में कांग्रेस और भाजपा के अधिकतर बाहरी उम्मीदवार चुनाव हार गए थे।
नए सिरे से वार्ड का समीकरण बदलने की जानकारी राजनीतिक दलों के साथ साथ दावेदारों को भी है ऐसे में उन्होंने अभी से एक से ज्यादा वार्ड पर नजर रखी हुई है जहां पर वह अपनी राजनीतिक स्थिति और ताकत को मजबूत करने में लगे हुए हैं ।हर दल को 33 प्रतिशत महिला उम्मीदवार चाहिए। प्रशासन साल 2011 की जनगणना को आधार मानते हुए वार्ड रिजर्व करेगा।
जो इस समय आरक्षित हैं वह फिर से नहीं होंगे
एक बात को तय है जो इस समय सात वार्ड आरक्षित वर्ग के लिए है जहां से इस समय आरक्षित वर्ग के पार्षद है वह वार्ड अब फिर से आरक्षित नहीं होगा ।अब यह वार्ड जनरल या महिला के लिए आरक्षित होंगे । अब 35 में से बाकी बचे 28 वार्ड में सात आरक्षित बनेंगे जिनमे पहले के सात को छोड़कर सबसे ज्यादा अारक्षित वर्ग की जनसंख्या सबसे ज्यादा होगी ऐसे वार्ड प्रशासन शार्ट लिस्ट कर रहा है । इन सात आरक्षित वार्ड में से तीन वार्ड महिला आरक्षित के लिए ड्रा के माध्यम से तय किए जाएंगे ।
इस समय यह वार्ड हैं आरक्षित
इस समय जो सात वार्ड आरक्षित वर्ग के लिए है उनमे सेक्टर-25 (वार्ड नंबर- 16), रामदरबार (वार्ड नंबर-19), मलोया (वार्ड नंबर- 28), डड्डूमाजरा (वार्ड नंबर-26), कजेहड़ी (वार्ड नंबर-31) अटावा (वार्ड नंबर-24) और मौलीजागरां (वार्ड नबंर-7) का विकास नगर शामिल है । इन सात वार्डों में से तीन वार्ड सेक्टर-25, रामदरबार, मलोया को महिला वर्ग के लिए रिजर्व है ।साल 2021 के चुनाव में वार्ड नंबर-1 4, 5, 6, 9, 18, 10, 22 और वार्ड नंबर-23 महिला उम्मीदवारों के लिए रिजर्व किए गए थे।
9 वार्ड जनरल महिला के लिए होगा आरक्षित
सात आरक्षित निकालने के बाद बाकी बचे 28 में से 9 वार्ड महिला के लिए आरक्षित किए जाएंगे ।इन्हें भी ड्रा के माध्यम से किया जाएगा ।ऐसे में 12 वार्डों पर महिला उम्मीदवार चुनाव लड़ेंगी जिनमे 9 महिलाएं जनरल और तीन वार्ड आरक्षित वर्ग की महिला के लिए होगा ।कई नेताओं ने महिला वार्ड होने पर अपनी पत्नियों को भी मैदान में उतारने की रणनीति बनाई है।
पिछली बार भी कई नेताओं ने वार्ड महिला के लिए रिजर्व होने पर अपनी पत्नी को टिकट दिलवाकर चुनाव लड़वाया था। इस बार ऐसे वार्ड भी आरक्षित वर्ग के लिए रिजर्व होने की संभावना है जो कि इससे पहले कभी नहीं हुए है क्योंकि साल 2021 में ही वार्ड की संख्या 26 से बढ़ाकर 35 की थी उस समय कई वार्ड में दूसरे एरिया जोड़े गए थे।
साल 2021 में किस दल को कितने प्रतिश वोट मिले
दल वोट प्रतिशत सीट
आप 27.9 14
भाजपा 29.30 12
कांग्रेस 29.79 09
अकाली 2.78 01
कुल सीट 35, बहुमत के लिए चाहिए 18

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