40 करोड़ की संपत्ति के विवाद में पंजाब विजिलेंस के अफसरों पर लगे गंभीर आरोप, मुख्य सचिव तक को देना पड़ेगा जवाब
पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट ने 40 करोड़ की संपत्ति विवाद मामले में पंजाब पुलिस को चार्जशीट दाखिल करने से रोक दिया है। याचिकाकर्ताओं ने विजिलेंस ब्यूरो के अधिकारियों पर झूठे केस में फंसाने का आरोप लगाया है जिसके कारण कोर्ट ने संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है।
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। 40 करोड़ रुपये मूल्य की दो कनाल जमीन के विवाद से जुड़े हाई-प्रोफाइल मामले में विजिलेंस ब्यूरो के अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगे हैं। इसके बाद पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने पंजाब पुलिस को फिलहाल चार्जशीट दाखिल करने से रोक दिया है। यह आदेश जस्टिस संजय वशिष्ठ ने दिया है।
उन्होंने कहा कि जांच जारी रह सकती है, लेकिन पुलिस आगे की कार्यवाही में जल्दबाजी नहीं कर सकती है। इसके साथ ही हाईकोर्ट ने पंजाब के गृह सचिव, विजिलेंस ब्यूरो के मुख्य निदेशक, एसएसपी (आर्थिक अपराध शाखा) लुधियाना, डीएसपी तेजिंदर पाल सिंह और इंस्पेक्टर मनजिंदर कौर को नोटिस जारी कर 14 अक्टूबर तक जवाब मांगा है।
यह मामला चंडीगढ़ के सेक्टर-18 स्थित कीमती संपत्ति से जुड़ा है। याचिकाकर्ता 70 वर्षीय जरनैल सिंह और उनकी बहन 68 वर्षीय जसवीर कौर (निवासी, रुपनगर) ने अपनी याचिका में पंजाब विजिलेंस ब्यूरो के वरिष्ठ अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाए।
याचिकाकर्ताओं का कहना है कि विजिलेंस के पूर्व प्रमुख सहित डीएसपी तेजिंदर पाल सिंह और इंस्पेक्टर मनजिंदर कौर ने उन्हें झूठे केस में फंसाकर दबाव बनाने की कोशिश की, ताकि प्रापर्टी को जबरन बेचा जा सके। आरोप है कि जिस इंस्पेक्टर मनजिंदर कौर ने शिकायत दर्ज करवाई, उनका इस पारिवारिक विवाद से कोई लेना-देना नहीं है। फिर भी उन्हें और उनके परिजनों को जबरन केस में फंसाया गया।
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