निलंबित DIG भुल्लर की 30 साल की कमाई का आधे घंटे में हिसाब कैसे? पंजाब विजिलेंस की FIR पर CBI कोर्ट में उठा सवाल
पंजाब विजिलेंस की एफआईआर पर सीबीआई कोर्ट ने सवाल उठाया कि निलंबित डीआईजी भुल्लर की 30 साल की कमाई का हिसाब आधे घंटे में कैसे लगाया गया। अदालत ने विजिलेंस की एफआईआर पर संदेह जताया, जबकि भुल्लर के वकील ने कहा कि सीबीआई की एफआईआर विजिलेंस के बाद दर्ज की गई है। इसलिए कानूनन सीबीआई की एफआईआर का कोई आधार नहीं बनता।

पंजाब के निलंबित डीआईजी हरचरण सिंह भुल्लर की संपत्ति को लेकर विजिलेंस और सीबीआई के अलग-अलग तर्क।
रवि अटवाल, चंडीगढ़। पंजाब के निलंबित डीआईजी हरचरण सिंह भुल्लर के खिलाफ पंजाब विजिलेंस ब्यूरो ने आय से अधिक संपत्ति की जो एफआईआर दर्ज की थी, वह अब सवालों के घेरे में आ गई है। चंडीगढ़ सीबीआई की विशेष अदालत ने इस एफआईआर को रहस्यमयी बताया है।
16 अक्टूबर 2025 को सीबीआई ने भुल्लर को रिश्वत मामले में गिरफ्तार किया था और 13 दिन बाद 29 अक्टूबर को उन पर आय से अधिक संपत्ति का केस दर्ज कर दिया। वहीं, पंजाब विजिलेंस ब्यूरो ने भी 29 अक्टूबर को ही भुल्लर के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति का केस दर्ज कर दिया।
अब दोनों एजेंसियां एक-दूसरे के केस को गलत ठहराने की कोशिश में लग गईं। हालांकि विजिलेंस की दलीलें अदालत में कमजोर साबित हुईं। विजिलेंस की एफआईआर 29 सितंबर सुबह 11 बजे दर्ज हुई थी जबकि सीबीआई ने उसी दिन दोपहर 12.30 बजे केस दर्ज किया।
भुल्लर के वकील ने अदालत में सवाल खड़ा किया कि सीबीआई की एफआईआर के कोई मायने नहीं है और उस केस में भुल्लर का रिमांड भी नहीं बनता। वहीं, सीबीआई के सरकारी वकील नरेंद्र सिंह ने सवाल खड़ा किया कि पंजाब विजिलेंस ने 29 अक्टूबर 2025 को सुबह 11 बजे भुल्लर के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति का केस दर्ज किया।
एफआईआर में लिखा गया कि विजिलेंस को भुल्लर की आय से अधिक संपत्ति होने की गुप्त सूचना 29 अक्टूबर सुबह 10.35 बजे मिली और 11 बजे केस दर्ज कर लिया गया। यानी विजिलेंस ने महज 25 मिनट में भुल्लर की 30 साल की सर्विस के दौरान कमाई संपत्ति का मूल्यांकन भी कर दिया, जोकि असंभव है। इस आधार पर विजिलेंस की दलीलें कमजोर साबित हुई और एक बार फिर अदालत ने सीबीआई को भुल्लर का रिमांड दे दिया।
विजिलेंस का भुल्लर के पास 20 दुकानों का दावा, सीबीआई कह रही 50
सीबीआई ने विशेष अदालत में कहा कि विजिलेंस ने केवल मनगढंत जानकारियां जुटाकर भुल्लर के खिलाफ केस दर्ज किया। विजिलेंस ने एफआईआर में भुल्लर के पास लुधियाना में 20 दुकानों का जिक्र किया जबकि उसके पास करीब 50 शापिंग प्लाॅट्स हैं।
सीबीआई ने कहा कि उन्होंने 13 दिनों तक भुल्लर की आय और उसकी संपत्तियों की जाच की। उनकी इनकम टैक्स रिटर्न और बैंक खातों-लाकर काे भी खंगाला किया जबकि विजिलेंस ने भी केवल मीडिया रिपोर्ट्स के आधार पर केस दर्ज कर लिया। ऐसे में सीबीआई की विशेष अदालत ने कहा कि किस एजेंसी ने एफआईआर दर्ज करने में जल्दबाजी दिखाई, वह जांच का विषय है।
केस में अब तक क्या-क्या हुआ
- 16 अक्टूबर : सीबीआई ने मंडी गोबिंदगढ़ के कारोबारी की शिकायत पर भुल्लर और बिचौलिए कृष्णु को गिरफ्तार किया
- 16 अक्टूबर : भुल्लर के सेक्टर-40 स्थित घर पर छापमेारी, साढ़े सात करोड़ कैश, सोना, लग्जरी घड़ियां मिली
- 17 अक्टूबर : सीबीआई ने दोनों को कोर्ट में पेश कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया।
- 27 अक्टूबर : सीबीआई ने कृष्णु को 12 दिनों का रिमांड मांगा
- 23 अक्टूबर : भुल्लर के सेक्टर-40 के घर पर फिर से रेड, कोने-कोने पर हुई पैमाइश
- 29 अक्टूबर : कृष्णु को नौ दिनों का रिमांड मंजूर
- 29 अक्टूबर : सीबीआई ने भुल्लर पर आय से अधिक संपत्ति का केस दर्ज, विजिलेंस ने भी इसी एफआइआर की
- 31 अक्टूबर : सीबीआई ने भुल्लर का भी पांच दिनों का रिमांड लिया
- छह नवंबर : सीबीआई ने भुल्लर का पांच दिन और कृष्णु का चार दिनों का रिमांड मिला

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