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    Nirjala Ekadashi 2025: निर्जला एकादशी की रात को करें ये उपाय, जॉब और धन से जुड़ी मुश्किलें होंगी दूर

    Updated: Fri, 06 Jun 2025 09:26 AM (IST)

    निर्जला एकादशी (Nirjala Ekadashi 2025) पर भगवान विष्णु की पूजा का खास महत्व है। इस दिन विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ करने और पीपल के पेड़ के नीचे दीपक जलाने से धन और नौकरी की बाधाएं दूर होती हैं। यह व्रत भगवान विष्णु को समर्पित है और सभी एकादशी में सबसे प्रमुख है।

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    Nirjala Ekadashi 2025: निर्जला एकादशी रात के उपाय।

    धर्म डेस्क, नई दिल्ली। निर्जला एकादशी हर साल ज्येष्ठ माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को रखी जाती है। यह सभी एकादशी में सबसे प्रमुख मानी गई है। इस दिन व्रत रखने से साल भर की एकादशी का फल मिलता है। यह व्रत भगवान विष्णु को समर्पित है।

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    ऐसा माना जाता है कि इस दिन (Nirjala Ekadashi Wealth Upay) सच्चे मन से पूजा-अर्चना करने और कुछ विशेष उपाय करने से भगवान विष्णु की कृपा मिलती है, तो आइए उन चमत्कारी उपाय के बारे में जानते हैं।

    निर्जला एकादशी रात के उपाय (Nirjala Ekadashi 2025 Night Rituals)

    • विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ - निर्जला एकादशी की रात को भगवान विष्णु के सामने घी का दीपक जलाएं। इसके बाद 'विष्णु सहस्त्रनाम' का पाठ एक लय में करें। ऐसा माना जाता है कि इस पाठ से भगवान विष्णु की कृपा मिलती है और धन संबंधी बाधाएं दूर होती हैं।
    • पीपल के पेड़ की पूजा - पीपल के पेड़ में भगवान विष्णु का वास माना जाता है। ऐसे में निर्जला एकादशी (Nirjala Ekadashi 2025 Upay) की रात को पीपल के पेड़ के नीचे दीपक जलाएं। इसके बाद 'ॐ नमो भगवते वासुदेवाय मंत्र का 108 बार जाप करें। इस उपाय को करने से नौकरी में आ रही बाधाएं दूर होती हैं। इसके साथ ही तरक्की के नए खुलते हैं।
    • तुलसी की परिक्रमा - तुलसी का पौधा भगवान विष्णु को बहुत प्रिय है। ऐसे में निर्जला एकादशी की रात को तुलसी के पौधे के सामने दीपक जलाएं और 11 या 21 बार परिक्रमा करें। परिक्रमा करते समय अपनी जॉब या धन से जुड़ी इच्छा को मन में दोहराएं। इस उपाय को करने से धन आगमन के मार्ग खुलते हैं।
    • दक्षिणावर्ती शंख की पूजा - अगर आपके घर में दक्षिणावर्ती शंख है, तो निर्जला एकादशी की रात को उसे गंगाजल से शुद्ध करके भगवान विष्णु के सामने रखें। उस पर कुमकुम और चावल चढ़ाएं। माना जाता है कि दक्षिणावर्ती शंख की पूजा से घर में सुख-समृद्धि आती है और आर्थिक तंगी दूर होती है।
    • गरीबों को दान - निर्जला एकादशी के अगले दिन यानी द्वादशी को ब्राह्मणों व जरूरतमंदों को जल, अन्न, वस्त्र का दान दें। इस कठिन व्रत के बाद दान करने का विशेष महत्व है। ऐसा करने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है।

    यह भी पढ़ें: Nirjala Ekadashi 2025: निर्जला एकादशी आज, जानें विष्णु जी की पूजा विधि, महत्व और प्रिय भोग

    अस्वीकरण: इस लेख में बताए गए उपाय/लाभ/सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों/दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। दैनिक जागरण तथा जागरण न्यू मीडिया अंधविश्वास के खिलाफ है।