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    Wimbledon 2025: डोपिंग विवाद और अवसाद से निकलकर चैंपियन बनीं इगा स्वियातेक, अनिसिमोवो को हराया

    Iga Swiatek पोलैंड की इगा स्वियातेक ने विंबलडन में अमांडा अनिसिमोवा को हराकर पहली बार खिताब जीता। यह जीत उनके मानसिक और शारीरिक संघर्षों से उबरने का प्रमाण है। डोपिंग मामले और खराब प्रदर्शन के बाद उन्होंने वापसी की और विंबलडन में शानदार प्रदर्शन किया। 24 वर्षीय स्वियातेक अब तीनों सतहों पर ग्रैंड स्लैम खिताब जीत चुकी हैं। उन्हें अब केवल ऑस्ट्रेलियन ओपन जीतना बाकी है।

    By Agency Edited By: Priyanka Joshi Updated: Mon, 14 Jul 2025 10:32 AM (IST)
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    स्वियातेक ने अमांडा को हराकर पहली बार विंबलडन का खिताब जीता

    डिजिटल डेस्क, लंदन। पोलैंड की इगा स्वियातेक ने आल इंग्लैंड क्लब पर शनिवार को अमेरिका की अमांडा अनिसिमोवा को हराकर पहली बार विंबलडन खिताब जीता था। यह जीत उनके करियर की सिर्फ एक और उपलब्धि नहीं, बल्कि एक साल से ज्यादा चले मानसिक, शारीरिक और पेशेवर संघर्षों से बाहर निकलने की मिसाल है।

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    स्वियातेक ने अमांडा को हराकर पहली बार विंबलडन का खिताब जीता

    स्वियातेक के लिए यह जीत केवल ग्रास कोर्ट पर पहली बड़ी सफलता नहीं रही, बल्कि उन्होंने यह भी साबित किया कि अगर समर्पण और सही टीम साथ हो, तो किसी भी मुश्किल दौर से उबरा जा सकता है।पिछले साल जब स्वियातेक अपने वारसा स्थित अपने घर में थीं, तब वे दोस्तों से मिलती थीं लेकिन एक डोपिंग मामले की बात किसी से नहीं साझा करती थीं।

    उनके दिमाग में यह डर बना रहता था, साथ ही उनके दादा का निधन, कोचिंग स्टॉफ में बदलाव, रैंकिंग में गिरावट और खिताबों की कमी ने उन्हें भीतर तक झकझोर दिया था। 2023 में एक डो¨पग जांच में फेल होने के बाद उन्हें एक महीने का प्रतिबंध झेलना पड़ा। बाद में अंतरराष्ट्रीय टेनिस इंटीग्रिटी एजेंसी ने माना कि यह मामला अनजाने में हुई दवा के दूषित सेवन से जुड़ा था।

    स्वियातेक ने इंटरनेट मीडिया पर लिखा था, ''यह घटना पूरी तरह मेरे नियंत्रण से बाहर थी, जिसने मेरे साल के लक्ष्य छीन लिए और मुझे खुद को भीतर से फिर से संयोजित करने पर मजबूर किया।''

    स्वियातेक ने कहा कि डोपिंग कांड के बाद वह खाने-पीने को लेकर बेहद सतर्क हो गई हैं, अब मैं हर चीज को लेकर ज्यादा सावधान हूं, कहीं कुछ दूषित न हो जाए।

    वापसी की राह

    डोपिंग विवाद और निराशाजनक प्रदर्शन के बाद स्वियातेक ने 12 जून को वापसी की शुरुआत की। उन्होंने स्पेन के मल्लोर्का में घास पर ट्रेनिंग शुरू की, फिर जर्मनी में एक टूर्नामेंट खेला, जहां वह फाइनल तक पहुंचीं और हार के बाद मंच पर आंसू बहाए।

    दो हफ्ते बाद, वह विंबलडन में मुस्कराते हुए कोर्ट पर लौटीं और एकतरफा अंदाज में खिताब अपने नाम किया। इस जीत के साथ, 24 वर्षीय स्वियातेक अब तीनों सतहों (क्ले, हार्ड और ग्रास) पर ग्रैंड स्लैम खिताब जीत चुकी हैं। इससे पहले यह उपलब्धि सेरेना विलियम्स ने 2002 में हासिल की थी। अब उन्हें सिर्फ आस्ट्रेलियन ओपन जीतना बाकी है, वह करियर ग्रैंड स्लैम पूरा कर सकें