बलिया के सिकंदरपुर-लीलकर मार्ग का 5 करोड़ की लागत से होगा चौड़ीकरण, योगी सरकार ने लगाई मुहर
बलिया के सिकंदरपुर-लील्कर मार्ग को चौड़ा करने के लिए सरकार ने 5.25 करोड़ रुपये मंजूर किए हैं। सड़क की जर्जर हालत से लोग परेशान थे। वहीं बेरुआरबारी क्षेत्र में कई संपर्क सड़कों की हालत भी खराब है जिससे ग्रामीणों में आक्रोश है। करम्बर-जिगनी-देवापुर मार्ग का मरम्मत कार्य अधूरा रहने से लोगों को परेशानी हो रही है।

जागरण संवाददाता, नवानगर (बलिया)। सिकंदरपुर लीलकर मार्ग की बदहाली से लोग वर्षों से त्रस्त हैं। मुश्किल से तीनप मीटर चौड़ी इस सड़क पर दिन-रात जाम की स्थिति रहती है। बारिश में जगह-जगह गड्ढे और धूल उड़ती पटरी लोगों के लिए जानलेवा साबित हो रही थी। सरकार ने इस मार्ग को 5.50 मीटर चौड़ा करने और सुदृढ़ बनाने की योजना पर मुहर लगा दी है। इसके लिए 5.25 करोड़ रुपये की स्वीकृति दी गई है। चौड़ीकरण को लेकर पेड़ों को चिन्हित कर हटाया जाएगा। इसके लिए वन विभाग की टीम को लगाया गया है। इससे आर्थिक, सामाजिक और व्यावसायिक विकास को गति मिलेगी।
करम्बर- देवापुर पिच मार्ग में बने गढ्ढे सड़के बनी जानलेवा
उधर, बेरुआरबारी क्षेत्र की अधिकांश लिंक सड़को की हालत दयनीय हो गई हैं, जिससे स्थानीय लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा हैं। बार बार शिकायत के बाद भी सड़क मरम्मत नहीं कराए जाने से ग्रामीणों में शासन प्रशासन के प्रति घोर आक्रोश व्याप्त हैं।
ग्रामीणों ने बताया कि करम्बर जिगनी देवापुर पिच मार्ग एक वर्ष पूर्व जब काम लगा तो बताया गया कि करम्बर से देवापुर तक लगभग 5 किलोमीटर सड़क का पूर्ण मरम्मत कार्य होगा । लेकिन ठेकेदार 3 किलोमीटर सड़क बनाकर बीच में ही छोड़ दिया गया । जब इसकी शिकायत विभाग से की गई तो अधिकारियों ने बताया कि बहुत जल्द सड़क के अधूरे कार्य पूरा किया जाएगा। लेकिन एक वर्ष बीत जाने के बाद भी अब तक शेष दो किलोमीटर सड़क पर अब तक मरम्मत कार्य नहीं होने से सबसे ज्यादा बच्चों को स्कूल आने जाने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
गांव के समाजसेवी रामप्रवेश सिंह ने बताया कि अब हम लोग शिकायत करते करते थक गए हैं । क्षेत्र की अधिकतर लिंक सड़के पूरी तरह क्षतिग्रस्त व गढ्ढे युक्त हो गयी हैं, जिससे इन सड़कों को देख कर कोई ये नही कह सकता कि सड़क में गढ्ढा हैं या गढ्ढे मे सड़क।
क्षेत्र के करम्बर जिगनी देवापुर पिच संपर्क मार्ग की दशा इतनी खराब हो गई हैं कि इस मार्ग से जाना जान को जोखिम में डालने के समान हैं। पिच सड़क की गिट्टियां पूरी तरह उखड़ गयी हैं और सड़क में जगह जगह बड़े बड़े गढ्ढे बन गए हैं। जिससे इस मार्ग से आने जाने वाले छात्र छात्राओं व राहगीरों को भारी कष्ट उठाना पड़ता है।
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