त्योहारों के चलते बाजार गुलजार, दिवाली और धनतेरस के लिए खूब हो रही खरीदारी, व्यापारी भी उत्साहित
बांदा में त्योहारों के चलते बाजार गुलजार है। जीएसटी में छूट और परंपरागत खरीदारी से व्यापार में तेजी आई है। वाहन, बिजली के उपकरण और कपड़ों की दुकानों पर ग्राहकों की भीड़ है। धनतेरस और दीपावली की खरीदारी से बाजारों में रौनक बढ़ गई है। जीएसटी के कारण कुछ सामानों के दाम कम हुए हैं, जिससे ग्राहक उत्साहित हैं।

त्योहारों की धूम: बांदा के बाजारों में छाई रौनक, व्यापारी उत्साहित। (तस्वीर- फाइल)
जागरण संवाददाता, बांदा। बदले हुए परिवेश में व्यापार ने एक बार फिर से छलांग लगाई है। पर्वों पर होने वाली परंपरागत खरीदारी और जीएसटी में मिली छूट के चलते व्यापार आसमान छूने को आतुर दिख रहा है। वाहन, इलेक्ट्रिक सामान, कपड़े समेत विभिन्न दुकानों में भीड़ जुटने से दुकानदारों के चेहरे खिले हुए हैं। करवा के बाद अब धनतेरस, दीपावली की खरीदारी से बाजार में हर ओर रौनक नजर आ रही है।
जिले भर के बाजारों में इन दिनों रौनक बढ़ी हुई है। नगर के महेश्वरी देवी, चौक बाजार, कोतवाली, बाजार, बलखंडी नाका, सब्जी मंडी और अतर्रा, बबेरू, नरैनी, पैलानी समेत अन्य कस्बों के बाजारों की रंगत बढ़ी हुई है। बाजार में धनतेरस व दीपावली को लेकर जहां एक ओर खरीदारी भी जरूरी है वही जीएसटी के चलते सामानों के दामों में हुई गिरावट को लेकर भी खरीदार उत्साहित दिख रहा है।
ग्राहक सामान खरीदते समय एक बार जीएसटी का जिक्र जरूर करता है। जानकारी लेने के बाद ही वह सामान खरीद रहा है। हालांकि बाजार में विभिन्न सामानों में जीएसटी के कम होने से सामानों की मूल्यों में कमी दिखने लगी है। खास वाहनों व इलेक्ट्रिक सामानों की बात करें तो जीएसटी से होने वाले लाभ सीधे नजर आ रहा है।
वहीं घरेलू सामान में किराना आदि की दुकानों में अभी भी प्रिंट रेट से ही सामान मिल रहा है। इन व्यापारियों का कहना है कि जैसे ही प्रिंट रेट कम होंगे वह खुद ही कम देने लगेंगे। लेकिन पर्व में ग्राहकों की कुछ सामानों को खरीदना जरूरत है। फिलहाल धनतेरस का बाजार सज चुका है ग्राहक भी पहुंच रहे हैं
जीएसटी की दरों में कमी आने के बाद कुछ सामानों की दरें कम हुई हैं। लेकिन किराना व्यापारी प्रिंट रेट पर ही अटके हुए हैं। अन्य सामानों पर दामों में कमी दिखाई देने लगी है।
राहुल यादव, बिजली खेड़ा
पर्वों में तो खरीदारी करना जरूरी हो जाता है। वर्ष भर में तो सब लोग एकत्र होते हैं। घर खुशियों से भर जाता है। इस बार भी वह खरीदारी के लिए बाजार आईं हैं।
सुनीता, स्वराज कालोनी
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