चित्रकूट में हादसा, रिहायशी इलाके में चल रही थी अवैध फैक्ट्री, आग लगने से चार झुलसे
चित्रकूट के मानिकपुर में एक अवैध पटाखा फैक्ट्री में बुधवार शाम को आग लगने से विस्फोट हो गया। घनी आबादी वाले इलाके में स्थित फैक्ट्री में हुए धमाकों से एक महिला समेत चार लोग गंभीर रूप से झुलस गए। अग्निशमन दल ने मौके पर पहुंचकर आग पर काबू पाया। उप जिलाधिकारी मानिकपुर और पुलिस बल घटना स्थल पर मौजूद हैं।

जागरण संवाददाता, चित्रकूट। थाना के मुहल्ला बाल्मीकिनगर की घनी आबादी के बीच एक घर में संचालित अवैध पटाखा फैक्ट्री व गोदाम में बुधवार की अपराह्न करीब तीन बजे भीषण आग लग गई।धमाकों के साथ आग बढ़ती गई और करीब डेढ़ घंटे जमकर पटाखे फूटे। काले धुआं के गुबार में पूरा मुहल्ला अंधेरा में डूब गया। लोगों ने अफरा-तफरी के बीच अपने को घरों में बंद कर लिया। पुलिस और फायर कर्मियों ने किसी तरह आग पर काबू पाया।आग में मकान मालिक, उसकी पत्नी और बहू बुरी तरह झुलस गई। सभी को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मानिकपुर से जिला अस्पताल रेफर किया गया है।
बाल्मीकि नगर पश्चिमी निवासी इश्तयाक पांच कमरों घर में अवैध रूप से पटाखा बनाता है। उसके मकान को दो कमरा में बने पटाखा के साथ बारूद व कच्चा माल रखा था। जबकि आगे वाले कमरे में बुधवार को पत्नी बानो बेगम व बहू शबाना बेगम के साथ वह पटाखा बना रहे थे। तभी अचानक इसी कमरा में आग लग गई। पहले तो किसी को पता नहीं चला लेकिन जब पटाखों के धमका शुरू हुए तो मुहल्ला में खलबली मच गई। देखते ही देखते धमाकों से साथ आग विकराल हो गई जिससे इश्तयाक सहित तीनों लोग भाग कर दूसरे कमरे में पहुंच गए लेकिन आग में वह झुलस गए थे। किसी तरह लोगों ने उनको बाहर निकाला।
सूचना पर पहुंची पुलिस और दमकल टीम ने आग पर काबू पाया। सूचना पर एसडीएम मानिकपुर मो. जसीम, थाना प्रभारी श्रीप्रकाश यादव सहित भारी पुलिस फोर्स पहुंचा। सभी घायलों को सीएचसी मानिकपुर मेंं भर्ती कराया। अपर पुलिस अधीक्षक सत्यपाल सिंह ने बताया कि इश्तयाक विगत वर्षों में पटाखा स्थाई लाइसेंस लेता रहा है। उसके घर पर पटाखा के अलावा बारूद व कच्चा माल भी रखा था। आग कैसे लगी अभी इसका पता नहीं चला है। कारणों की जांच की रही है।
घनी आबादी में चल रही थी अवैध पटाखा फैक्ट्री से उठे सवाल
अवैध पटाखा फैक्ट्री व गोदाम घनी आबादी के बीच कैसे थी, यह लोगों के बीच सवाल है। लाइसेंस देते समय यह देखा जाता है कि फैक्ट्री व गोदाम आबादी के बीच नहीं होना चाहिए। एसडीएम मो. जसीम ने बताया कि घर को सील करने के साथ सभी पटाखा व सामग्री कब्जे में ले ली गई है। इसने दीपावली के समय तीन दिन का लाइसेंस लिया था। वर्तमान के कोई लाइसेंस नहीं है। जांच की जा रही है। अभी सभी अस्पताल में भर्ती है।
अंदर के कमरों में लगती आग तो मुहल्ला हो जाता स्वाहा
आग यदि अंदर के कमरों में पहुंचती तो मुहल्ला भी स्वाहा हो जाता। क्योंकि अंदर को दो कमरा में पटाखा की गोदाम थी। जिसमें भारी क्षमता के बम सहित अन्य पटाखे रखे थे। साथ ही किचेन था। जिसमें गैस सिलेंडर थे। वह भी फटते तो मुहल्ला के कई घर प्रभावित होते।
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