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    भाव खाते सब्जियों ने बिगाड़ा खाने का जायका

    By JagranEdited By:
    Updated: Wed, 30 Jun 2021 08:39 PM (IST)

    जागरण संवाददाता भदौरा (गाजीपुर) सब्जियों के दाम पिछले काफी समय से कम चल रहे थे लेकिन बरसात का मौसम शुरू होते ही दामों में इजाफा हो गया।

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    भाव खाते सब्जियों ने बिगाड़ा खाने का जायका

    जागरण संवाददाता, भदौरा (गाजीपुर) : सब्जियों के दाम पिछले काफी समय से कम चल रहे थे, लेकिन बरसात का मौसम शुरू होते ही सभी के दामों में इजाफा हो गया है। जब टमाटर की स्थानीय फसल थी तो फुटकर में दाम दस रुपये और थोक में चार से पांच रुपये किलो था। किसानों को तो और कम दाम मिला था। ऐसे में काफी फसलों को किसानों ने खुद ही नष्ट कर दी थी, क्योंकि तोड़ाई का खर्च भी नहीं निकल रहा था। अब लोकल फसल खत्म हो गई है तो फुटकर में भाव 40 रुपये किलो तक पहुंच गया है। आलू भी छह रुपये प्रतिकिलो तक बढ़े हैं। अन्य सब्जियां भी महंगी हुई हैं।

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    क्षेत्र के गंगा एवं कर्मनाशा नदी के तट पर काफी किसान टमाटर की खेती करते हैं। मई में फसल तैयार हुई, लेकिन मंडी में भाव बेहद कम था। कोरोना क‌र्फ्यू भी कारण रहा, क्योंकि होटल, ढाबे भी बंद थे और अधिकांश लोगों ने विवाह भी आगे के लिए टाल दिए थे। स्थिति यह थी कि तोड़ाई में जो मजदूरी बैठती थी, वह भी टमाटर बिकने से मिलने वाली धनराशि से अधिक थी। ऐसे में काफी किसानों ने समय से पहले ही फसल को नष्ट कर दिया था। सब्जी के थोक विक्रेता शाकिर राइन ने बताया कि एक माह पहले सब्जियों की खपत भी कम थी। स्थानीय टमाटर की खेतों से अधिक निकल रहा था। अब स्थानीय फसल तो करीब - करीब खत्म हो चुकी है। ऐसे में दाम में इजाफा हो गया है। आलू इसलिए महंगा हुआ, क्योंकि अब कोल्ड स्टोर से ही आ रहा है। मांग के अनुसार खपत अधिक है। आलू 70 से 90 रुपये प्रति पांच किलो है, जबकि 15 दिन पहले 60 रुपये प्रति पांच किलो का भाव था। भिडी, प्याज, अदरक, नेनुआ व बैगन के दाम भी कुछ बढ़े हैं। अधिकांश सब्जियां बिहार की मंडियों से आ रही हैं।

    टमाटर में रहा घाटा :

    - बारा के किसान बब्बन चौधरी ने बताया कि टमाटर की फसल में मुनाफा तो दूर लागत मूल्य भी नहीं मिल सका है। किसान रामजी बिदा ने बताया कि अब फसल खत्म हो चुकी है तो दाम बढ़े हैं। हमारा टमाटर तो अधिकतम पांच रुपये किलो के भाव बिका वो भी अंतिम दिनों में।

    रसोई का बजट बिगड़ा

    - बारा गांव निवासी उषा गुप्ता का कहना है कि सरसों का तेल पहले ही महंगा है। अब सब्जियों के दाम भी बढ़ गए। रसोई का बजट बिगड़ गया है। शकीला खातून ने बताया कि कुछ दिन से सब्जियों के दाम बढ़ते जा रहे हैं। रसोई का खर्च बहुत ज्यादा बढ़ रहा है।

    ये सब्जियां भी महंगी

    सब्जी 15 दिन पूर्व अब का मूल्य भिडी 20 30 प्याज 18 30 बैगन 20 40 नेनुआ 20 40 अदरक 60 100

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