यूपी के इस जिले में आवारा कुत्तों के लिए नगर निगम बनाएगा आश्रय स्थल, जल्द शहर के बाहरी इलाके में उपलब्ध होगी भूमि
गोरखपुर नगर निगम आवारा कुत्तों की समस्या से निपटने के लिए डॉग पाउंड (आश्रय स्थल) बनाने जा रहा है। निगम ने 3500 वर्ग मीटर भूमि की मांग की है। यह निर्णय एबीसी सेंटर में कुत्तों की संख्या बढ़ने और शहर में कुत्तों के काटने की घटनाओं को देखते हुए लिया गया है। इस आश्रय स्थल से लोगों को आवारा कुत्तों से निजात मिलेगी और बेसहारा जानवरों को सुरक्षित स्थान मिलेगा।

तस्वीर का इस्तेमाल प्रतीकात्मक प्रस्तुतीकरण के लिए किया गया है। जागरण
जागरण संवाददाता, गोरखपुर। केंद्र सरकार के सख्त आदेश के बाद नगर निगम शहर के आवारा कुत्तों की समस्या से निजात के लिए एक और बड़ा कदम उठाने जा रहा है। आवारा कुत्तों को रखने के लिए नगर निगम डाग पाउंड (आश्रय स्थल) बनाएगा। इसके लिए निगम के स्वास्थ्य विभाग ने 3500 वर्ग मीटर (37,660 वर्ग फुट) भूमि की मांग की है। एबीसी सेंटर में संख्या अधिक होने के बाद नगर निगम सड़कों पर घूमने वाले, लावारिस और छोड़े गए कुत्तों को इस डाग पाउंड में रखेगा।
शहर में आए दिन आवारा कुत्तों के काटने और उनके उत्पात मचाने की घटनाएं सामने आती रहती हैं, जिससे लोग भयभीत हैं। जिला अस्पताल के आकड़ों के अनुसार कुत्तों के द्वारा काटने के रोजाना करीब 300 मामले आते हैं। इनमें काफी संख्या बच्चों और बुजुर्गों की होती है।
लोगों की शिकायतों और सुप्रीम कोर्ट के आदेश और केंद्र सरकार के निर्देश के क्रम में निगम ने इस समस्या का स्थायी समाधान निकालने की दिशा में काम शुरू किया है। इस डाग पाउंड के बन जाने से न केवल लोगों को आवारा कुत्तों से निजात मिलेगी, बल्कि इन बेसहारा जानवरों को भी एक सुरक्षित और संरक्षित आश्रय मिल पाएगा।
केंद्र सरकार ने सभी स्थानीय निकायों को आवारा पशुओं की समस्या से निपटने के लिए आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए हैं। इसी के मद्देनजर, निगम ने यह पहल की है। केंद्र सरकार का मानना है कि इस तरह के आश्रय स्थल न केवल पशु क्रूरता को रोकेंगे, बल्कि सार्वजनिक स्वास्थ्य और सुरक्षा के लिए भी महत्वपूर्ण हैं।
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एबीसी सेंटर में रखे जा सकते हैं अधिकतम 300 कुत्ते
आवारा कुत्तों की समस्या से निजात के लिए नगर निगम ने गुलरिहा स्थित अमवा में 1.85 करोड़ रुपये की लागत से एनिमल बर्थ कंट्रोल (एबीसी) सेंटर का निर्माण कराया है। यहां आवारा कुत्तों का टीकाकरण के अलावा बंध्याकरण की व्यवस्था है। एजेंसी के द्वारा काम छोड़ देने के बाद पिछले कुछ दिनों से टीकाकरण और बंध्याकरण का काम बंद है। जल्द ही इसके शुरू होने की उम्मीद है।
निगम ने एजेंसी तय कर दी है। जल्द ही फर्म को वर्कआर्डर जारी कर दिया जाएगा। नगर निगम के मुख्य पशु चिकित्सा एवं कल्याण अधिकारी डा. रोबिन चंद्रा का कहना है कि अमवा स्थित एबीसी सेंटर की क्षमता काफी कम है। इस सेंटर में अधिकतम 200 कुत्तों को रखा जा सकता है। ऐसे में कुत्तों की संख्या बढ़ने पर इनको रखना मुश्किल हो जाएगा। इसको देखते हुए डाग पाउंड बनाने का निर्णय लिया गया है।
कुत्तों के लिए डाग पाउंड बनाया जाएगा। जल्द ही इसके लिए करीब 3500 वर्ग मीटर भूमि उपलब्ध करा दी जाएगी।
निरंकार सिंह, अपर नगर आयुक्त

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