हरदोई में संदिग्ध हालात में फंदे से लटका मिला युवती का शव, पिता पर हत्या का आरोप
कछौना में एक युवती का शव संदिग्ध परिस्थितियों में फंदे से लटका मिला। मामा ने पिता पर हत्या का आरोप लगाया है, जबकि पिता ने आत्महत्या की बात कही है। युवती के चेहरे पर चोट के निशान थे। पुलिस मामले की जांच कर रही है और पिता को हिरासत में लिया गया है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार है।

संवाद सूत्र, कछौना। संदिग्ध हालात में युवती का शव कमरे में साड़ी के फंदे से लटकता मिला। चेहरे पर चोट के निशान थे। मामा ने मृतका के पिता पर गला दबाकर हत्या कर शव लटकाने का आरोप लगाया। वहीं पिता ने मोबाइल पर बात करने से मना करने से नाराज होकर आत्महत्या करने की बात कही। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
कछौना के ग्राम हरचंदापुर की चांदनी का शव गुरुवार की सुबह कमरे में संदिग्ध हालात में फंदे से लटकता मिला। घटना के समय चांदनी के भाई रविप्रकाश,राघवेंद्र सीतापुर के पिसावां के ग्राम मुस्तफाबाद स्थित ननिहाल में थे। पिता सुशील सिंह की सूचना पर दोनों भाई अपनी नानी शकुंतलाख् मामा सुधीर सिंह के साथ था।
पिता द्वारा पुत्रों को सूचना दी गई कि उसकी बेटी चांदनी ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली है सूचना पर गुरुवार की सुबह दोनों भाई एवं नानी शकुंतला मामा सुधीर सिंह के साथ गांव आए। चांदनी का शव बरामदे में रखा मिला। मृतका के मामा ने पिता पर गला दबाकर हत्या करने का आरोप लगाकर पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर जांच की।
फॉरेंसिक टीम ने साक्ष्य जुटाने को नमूने लिए। पुलिस ने मृतका के पिता को हिरासत में लिया है। वहीं पिता का कहना है कि मोबाइल पर बात करने से मना करने पर चांदनी से आत्महत्या की है। कोतवाल प्रेम सागर सिंह ने बताया कि प्रथम दृष्ट्या युवती ने आत्महत्या की है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आधार पर जांच कर आगे की कार्रवाई की जाएगी।
चांदनी के चेहरे पर थे चोट के निशान
मृतका के मामा का कहना है कि चांदनी के चेहरे पर चोट के निशान थे। पहले मारपीट की गई,इसके बाद भांजी की गला दबाकर हत्या की गई है। वहीं मृतका के पिता का कहना है कि वह औद्योगिक क्षेत्र स्थित फैक्ट्री में काम करता है। बुधवार की शाम घर आया था। बेटी किसी से फोन पर बात कर रही थी। जिस पर उसने बेटी से फोन दिखाने के लिए कहा तो छीना झपटी होेने लगी। उसी में चेहरे पर खरोंच आई है। मृतका की नीरज सिंह ने 18 साल पहले आत्महत्या की थी। पहले बहन अब भांजी की मौत सुधीर के गले नहीं उतर रही है।

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