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    Moradabad scholarship scam : शिकायती पत्र के साथ लगी मार्कशीटों की फोटोकॉपी गायब, जांच के ल‍िए नहीं पहुंची टीम

    By Narendra KumarEdited By:
    Updated: Thu, 07 Oct 2021 11:17 AM (IST)

    Moradabad scholarship scam जांच कमेटी 22 दिन बाद भी जांच पूरी नहीं कर सकी है जबकि सीडीओ ने एक सप्ताह का समय दिया था। मुख्य विकास अधिकारी आनंद वर्धन ने बताया कि जांच कमेटी से इस संबंध में बात करके जल्द जांच पूरी करने के लिए कहा जाएगा।

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    डीएम के यहां से अल्पसंख्यक विभाग भेजी गई थी शिकायत।

    मुरादाबाद, जागरण संवाददाता। Moradabad scholarship scam : छात्रवृत्ति घोटाले में अभी तक जांच अधिकारियों की टीम मौके पर नहीं गई है। जिन लोगों के नाम शिकायती पत्र में हैं, उनके बयान भी जांच कमेटी ने अभी तक लेने की कोशिश नहीं की है। अल्पसंख्यक विभाग के अधिकारी और जांच अधिकारी आरोपितों को बचाने की फिराक में है। यही वजह है कि अभी तक किसी ने दोनों गांव में जाकर जांच करने की जरूरत नहीं समझी है।

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    शिकायती पत्र के साथ उन युवकों की मार्कशीट भी लगी थीं, जिनके नाम से छात्रवृत्ति निकाली गई है लेकिन, वह गायब हो गई हैं। इसी के बहाने जांच को फिर से ठंडे बस्ते में डालने की कोशिश की जा रही है। ब‍िलारी के मिर्जापुर गांव स्थित मदरसा एमएस फालहे मिल्लत के प्रधानाध्यापक सलाउद्दीन समेत 17 ऐसे लोगों के नाम से 95500 रुपये की छात्रवृत्ति निकाले जाने के मामले में जांच के नाम पर खानापूरी हो रही है। सलाउद्दीन ने वर्ष 2017 में खुद को मदरसे का आठवीं का छात्र दिखाकर अल्पसंख्यक विभाग से छात्रवृति ले ली। मदरसे में शिक्षण कार्य करने वाले मुहम्मद असलम के नाम से भी इसी वर्ष में छात्रवृति ली गई। उनके शैक्षिक प्रमाण पत्र भी शिकायत के साथ दिए थे, जिन युवकों के नाम से छात्रवृत्ति निकाली गई है। उन्होंने कई-कई साल पहले इंटरमीडिएट की परीक्षा पास कर ली है। क्षेत्र के ही बहेड़ी ब्रह्मनान गांव निवासी हामिद हुसैन ने डीएम शिकायत पर डीएम शैलेंद्र कुमार सिंह ने इस प्रकरण की जांच के आदेश दिए हैं। डीएम के आदेश पर जांच करने के बजाय मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया। दैनिक जागरण ने 10 सिंतबर को इस खबर को प्रमुखता से प्रकाशित किया तो सीडीओ ने फिर से कमेटी बना दी। जांच कमेटी में जिला विकास अधिकारी गोविंद पाठक और युवा कल्याण अधिकारी नरेश चौहान को रखा गया है। लेकिन, जांच कमेटी 22 दिन बाद भी जांच पूरी नहीं कर सकी है जबकि सीडीओ ने एक सप्ताह का समय दिया था। मुख्य विकास अधिकारी आनंद वर्धन ने बताया कि जांच कमेटी से इस संबंध में बात करके जल्द पूरी करने के लिए कहा जाएगा।