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    अवैध कट-खराब सड़क, हर कदम पर खतरा... जानलेवा है UP के इस हाईवे पर सफर करना

    Updated: Tue, 04 Nov 2025 10:41 AM (IST)

    कानपुर-लखनऊ हाईवे पर खराब सड़क और अवैध कट से असुरक्षित सफर का खतरा है। 95 करोड़ से सड़क सुधारने का दावा किया जा रहा है, पर कई कमियां हैं। रोजाना हजारों वाहन गुजरते हैं और टोल टैक्स देते हैं। इस साल कई दुर्घटनाएं हुई हैं। सुधार कार्य जारी है, लेकिन अवैध मंडियां और जाम भी समस्या हैं।

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    जागरण संवाददाता, उन्नाव। जगह-जगह खराब सड़क व अवैध कट। इससे हर कदम पर असुरक्षित सफर और हादसों से जिंदगी गंवाने का खतरा। मगर दावा है कि 95 करोड़ रुपये से सड़क सुधारी जा रही है। ये कानपुर-लखनऊ हाईवे है। वह हाईवे, जो औद्योगिक नगरी कानपुर व उन्नाव को राजधानी लखनऊ से सीधे जोड़ता है।

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    प्रतिदिन हजारों कारोबारी व लाखों लोग आते-जाते हैं व मन मसोसकर गुजरते हैं। कानपुर के जाजमऊ में गंगा पुल से लखनऊ नहरिया पुल तक लगभग 69 किमी में 80 प्रतिशत मार्ग पर सफेद पट्टी, जेब्रा क्रासिंग, रिफ्लेक्टर, ब्लिंकर व संकेतक नहीं हैं। 72 जगह अवैध कट हैं। आने व जाने वाले दोनों रास्तों पर गड्ढे हैं।

    इसके बावजूद कार, जीप वाले एक तरफ का टोल टैक्स 95 रुपये व 24 घंटा में वापसी पर 145 रुपये दे रहे हैं। छोटे भार वाहन व बसों के लिए टोल दर 320 रुपये व 24 घंटे वापसी में 485 रुपये है। बड़े भार वाहन 350 व 24 घंटे में ही वापसी पर 525 रुपये टैक्स चुका रहे हैं। एक जनवरी से 20 अक्टूबर, 2025 तक 212 दुर्घटनाओं में 84 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 217 घायल हुए। इनमें 55 प्रतिशत हादसों की वजह ऊपर वाली खामियां हैं।

    सुधार कार्य करा रही एजेंसी जीएस एक्सप्रेस प्राइवेट लिमिटेड के मैनेजर आरके सिंह व भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआइ) लखनऊ के प्रोजेक्ट डायरेक्टर कर्नल शरद सिंह का दावा है कि अवैध कट बंद कराए जा रहे हैं। दूसरे चरण का ओवर ले (खराब सड़क की ऊपरी परत ठीक करना) का काम इसी साल दिसंबर तक पूरा होगा।

    इसके बाद समस्याएं ठीक हो जाएंगी। दोनों किनारों पर एल्यूमिनियम फेंसिंग व रेलिंग ठीक कराकर आवारा जानवरों को ऊपर चढ़ने से रोका जाएगा। संकेतक लगेंगे। वर्तमान में कानपुर-लखनऊ हाईवे पर अव्यवस्था के बीच ही औसतन हर दिन लगभग 30 हजार छोटे-बड़े वाहन गुजर रहे हैं, जो लगभग 43 लाख रुपये रोज का टोल टैक्स देते हैं।

    कानपुर में रामादेवी से आगे जाजमऊ गंगा पुल की ही सड़क खतरनाक है। गड्ढे ऐसे कि वाहन हिचकोले लेकर आगे बढ़ते हैं। उन्नाव में दही तिराहा, आजाद मार्ग चौराहा तक मार्ग के दोनों तरफ सड़क पर डामर की दूसरी लेयर बिछाने का काम चल रहा है, जिससे स्थिति थोड़ी ठीक है।

    हालांकि, इसी क्षेत्र में 72 स्थानों पर डिवाइडर की रेलिंग टूटी है। इससे पैदल, दोपहिया वाहन वाले इधर से उधर आते-जाते हैं, जिससे हादसे हो रहे हैं। नवाबगंज में आशाखेड़ा, 10 नंबर गुमटी, बजेहरा, अजगैन कोतवाली के सामने, जगदीशपुर, बिचपरी, कुमेदानखेड़ा में अवैध कट खतरनाक हैं।

    दही तिराहा से गदनखेड़ा चौराहा के बीच रायबरेली रेलवे क्रासिंग के ऊपर पुल पर आधा दर्जन अवैध कट हैं। उन्नाव के जाजमऊ में कल्लूपुरवा के पास सड़क के दोनों ओर अवैध अमरूद मंडी बड़ी मुसीबत है। अमरूद खरीदने के लिए हाईवे के दोनों ओर बड़े व छोटे वाहन सड़क किनारे खड़े रहते हैं, जिससे हादसे होते हैं।

    मंडी को व्यवस्थित किया जाना चाहिए। यही हाल लखनऊ में कानपुर-लखनऊ एक्सप्रेसवे निर्माण के कारण दोनों ओर है। दिन भर जाम, खराब सड़क राहगीरों को परेशान कर रही है।