Unnao Flood: गंगा के खतरे के निशान के करीब पहुंचने से कई इलाकों में भरा पानी, आवागमन हुआ बाधित
शुक्लागंज में गंगा नदी खतरे के निशान के करीब पहुंच गई है जिससे कई मोहल्ले बाढ़ की चपेट में हैं। सौ से अधिक घर पानी से घिरे हैं और लोग छतों पर रहने को मजबूर हैं। प्रशासन ने 27 नावें लगाई हैं। गंगा का जलस्तर खतरे के निशान से केवल 12 सेंटीमीटर दूर है जिससे हजारों लोग घरों में कैद हैं। फसलें डूबने से किसानों को नुकसान हुआ है।

संवाद सहयोगी, शुक्लागंज। गंगा फिर खतरे के निशान के करीब पहुंच गई हैं। पश्चिमी गंगाघाट के कई मुहल्लों में बाढ़ का पानी भरा हुआ है। एक सैकड़ा से अधिक मकान पानी से घिरे हुए हैं। यहां रहने वाले लोगों का जनजीवन अस्त व्यस्त है। नीचे की मंजिलों में पानी भर जाने से लोग ऊपर की मंजिलों व छतों पर गृहस्थी समेत पहुंचकर रह रहे हैं।
नाव से लोगों को आवागमन करना पड़ रहा है। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में प्रशासन ने 27 नावें लगा रखी हैं। बच्चों तक को नाव से स्कूल जाना पड़ रहा है।
गंगा नदी खतरे के निशान से महज 12 सेंटीमीटर दूर हैं। वहीं, गंगानगर, श्रीनगर, मालवीय नगर समेत कई मुहल्ले मुहल्ले बाढ़ की चपेट में हैं। रिहायशी बस्तियों में बाढ़ का पानी भरने से हजारों की संख्या में लोग घरों में कैद होकर रह गए हैं।
फत्तेखेड़ा, हरिहरपुर व नेतुआ चंपापुरवा मार्ग पर पानी भर गया है। जिससे आवागमन प्रभावित है। केंद्रीय जल आयोग के आंकड़ों के अनुसार गंगा का जलस्तर बीते शुक्रवार को 112.820 मीटर रिकॉर्ड किया गया था।
जो शुक्रवार को शाम छह बजे 112.880 मीटर पहुंच गया है। शुक्लागंज में गंगा नदी के खतरे का निशान 113.000 मीटर पर है।
गंगा का जलस्तर खतरे के निशान के करीब पहुंच जाने से गंगा किनारे बसे मुहल्लों में रहने वाले लोगों को घोर दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
वहीं, दूसरी ओर गंगाकटरी क्षेत्र व उसके आस पास खेतों में पानी भर जाने से सब्जी व धान आदि की फसलें डूब गई हैं। जिससे किसानों को नुकसान हुआ है। मवेशियों के चारे पानी की दिक्कत बढ़ गई है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।